फीफा विश्व कप : मेसी नहीं दिखा पाए कमाल, अर्जेन्टीना का आइसलैंड से ड्रॉ, डेनमार्क और क्रोएशिया को मिली जीत
शनिवार को आइसलैंड ने अर्जेटीना को ग्रुप-डी के अपने पहले मुकाबले में 1-1 की बराबरी पर रोक दिया। वहीं डेनमार्क ने पेरू को 1-0 से हरा कर टूर्नामेंट का आगाज जीत के साथ किया और क्रोएशिया ने भी नाइजीरिया को 2-0 से हराकर टूर्नामेंट के 21वें संस्करण की शुरुआत जीत से की।
आइसलैंड के गोलकीपर हेंस थोर हैल्डोरसल ने अपने शानदार प्रदर्शन के दम पर फीफा विश्व कप खिताब की प्रबल दावेदार मानी जा रही अर्जेटीना को ग्रुप-डी के अपने पहले मुकाबले में 1-1 की बराबरी पर रोक दिया। लुज्निकी स्टेडियम में शनिवार को खेले गए इस मुकाबले में हैल्डोरसल ने कई शानदार बचाव किए, जिसमें 64वें मिनट में अर्जेटीना को मिली पेनाल्टी भी शामिल है। इस पेनाल्टी को विश्व के महान फुटबाल खिलाड़ी लियोनेल मेसी ने लिया था लेकिन हैल्डोरसल ने अपनी दाईं ओर कूदते हुए मेसी को गोल से महरूम रखा।
वहीं डेनमार्क ने भी मोरडोविया एरिना में खेले गए ग्रुप-सी के मुकाबले में अपने गोलकीपर कैस्पर इश्माइकल की बेहतरीन गोलकीपिंग और यूसुफ पाउलसन युरारी द्वारा 59वें मिनट में गिए गए गोल के दम पर पेरू को 1-0 से हरा कर टूर्नामेंट का आगाज जीत के साथ किया।
ग्रप डी के अपने पहले मुकाबले में देर रात क्रोएशिया ने सुपर ईग्लस के नाम से मशहूर नाइजीरिया को 2-0 से हराकर टूर्नामेंट के 21वें संस्करण की शुरुआत जीत से की।
अर्जेटीना और आइसलैंड
अपना पहला विश्व कप खेल रही आइसलैंड ने अपने पर्दापण मैच में उम्मीद से बेहतर खेल दिखाते हुए सभी अनुमानों को गलत साबित किया और 2014 में फाइनल तक का सफर तय करने वाली अर्जेटीनी टीम को विजयी शुरुआत से वंचित रखा।
आइसलैंड ने दमदार शुरुआत की और 20 सेकेंड के अंदर ही टीम के स्टार खिलाड़ी जिल्फि सिगर्डसन ने 20 गज की दूरी से गोल दागने का प्रयास किया।
आइसलैंड की शुरुआती हमले के बाद अर्जेटीना संभली और हमले तेज कर दिए। टीम को पांचवें मिनट में फ्री-किक मिली। मेसी ने बॉक्स के बाहर बाएं छोर से शानदारी फ्री-किक ली लेकिन डिफेंडर निकोल्स ओटामेंडी हेडर के बावजूद गेंद को गोल में नहीं डाल पाए।
इसके चार मिनट बाद, अर्जेटीना के गोलकीपर विल्फ्रेडो काबालेरो ने अपने डिफेंडर को पास देने में गलती की जिसके कारण आइसलैंड के बिरकिर बजरनासन को गोल करने का शानदार मौका मिली लेकिन वह गेंद को गोल पोस्ट की बाईं ओर मार बैठे।
बजरनासन के प्रयास के बाद अर्जेटीना ने अपने खेल में सुधार लाया और गेंद पर नियंत्रण बनाने के अधिक प्रयास किया। पूरे मैच के दौरान कप्तान लियोनेल मेसी की टीम ने 78 प्रतिशत बाल पोजेशन रखा।
कोच साम्पोली ने मेसी को इस मैच में विंगर की जगह एक अटैकिंग मिडफील्डर के रूप में खिलाया, जिसका लाभ टीम को मिला। 19वें मिनट में स्ट्राइकर सर्गियो एग्वेरो को बॉक्स के अंदर थोड़ी सी जगह मिली और उन्होंने अपने बाएं पैर से शानदार गोल दागकर अर्जेटीना को 1-0 की बढ़त दिला दी।
आइसलैंड ने बराबरी का गोल करने के लिए केवल चार मिनट का समय लिया। सिगर्डसन ने बेहतरीन शॉट लिया। अर्जेटीना के गोलकीपर गेंद को क्लियर नहीं कर पाए और स्ट्राइकर अल्फ्रेड फिनबोगसन ने गोल करके अपनी टीम को बराबरी पर ला खड़ा किया।
पहला हाफ समाप्त होने से पहले (45वें मिनट) आइसलैंड के सिगर्डसन को अपनी टीम को बढ़त दिलाने का मौका मिला लेकिन गोलकीपर काबालेरो ने शानदार बचाव करके अपनी टीम को मैच में बनाए रखा।
अर्जेटीना ने दूसरे हाफ की आक्रामक शुरुआत की और आइसलैंड की मिडफील्ड एवं डिफेंस को लगातर पेरशानी में डाले रखा।
मैच के 64वें मिनट में आइसलैंड का डिफेंस अर्जेटीना के फारवर्ड खिलाड़ियों द्वारा बनाए गए दबाव में बिखर गई और पेनाल्टी दे बैठी। सभी की नजरें मेसी पर थीं लेकिन वह पेनाल्टी को गोल में बदलने में कामयाब नहीं हो पाए।
मैच के अंतिम 10 मिनट में अर्जेटीना ने गोल करने के कई मौके बनाए लेकिन हैल्डोरसल शानदार बचाव करते हुए अपनी टीम को एक अंक दिलाने में कामयाब रहे। मेसी ने फ्रीकिक के रूप में अंतिम प्रयास किया लेकिन किस्मत उनके साथ नहीं थी।
अर्जेटीना ग्रुप-डी के अपने अगले मुकाबले में गुरुवार को क्रोएशिया का सामना करेगी जबकि आइसलैंड का मुकाबला नाइजीरिया से होगा।
क्रोएशिया और नाइजीरिया
कालिनिनग्रेड स्टेडियम में खेले गए इस मुकाबले में क्रोएशिया ने दमदार प्रदर्शन किया और मैच में नाइजीरिया को वापसी करने का एक भी साफ मौका नहीं दिया। 12वें मिनट में सुपर ईग्लस के अनुभवी कप्तान जॉन ओबी मिकेल ने बाएं फ्लेंक पर एक डिफेंडर को छकाते हुए बॉक्स में पास दिया लेकिन स्ट्राइकर ओडियोन इघालो गेंद तक नहीं पहुंच पाए।
इसके दो मिनट बाद, क्रोएशिया ने जबावी हमला किया और इवान पेरीसिक ने 20 गज की दूरी से गोल करने का प्रयास किया लेकिन वह गेंद को गोलपोस्ट के उपर मार बैठे। पेरीसिक के प्रयास के बाद क्रोएशिया की मिडफील्ड ने मैच में अपना दबदबा कायम किया जिसका लाभ टीम को 32वें मिनट में मिला।
स्पेनिश क्लब रियल मेड्रिड से खेलने वाले लुका मोड्रिक ने दाएं छोर से कॉर्नर पर बेहतरीन पास दिया। स्टार स्ट्राइकर मारियो मांजुकिक बॉक्स के अंदर हेडर मारने में कामयाब रहे और गेंद नाईजीरिया के मिडफील्डर ओगेनेकारो इटेबो के पांव से लगकर गोल में चली गई।
एक गोल की बढ़त बनाने के बाद क्रोएशिया ने अपने खेल में अधिक आक्रामकता लाई लेकिन टीम पहले हाफ में दूसरा गोल नहीं कर पाई।
सुपर ईग्लस ने दूसरे हाफ की भी तेज शुरुआत की लेकिन गोल करने का पहला मौका क्रोएशिया को मिला। 55वें मिनट में पेरीसिक ने बाएं छोर से बॉक्स में मौजूद एंटे रेबिक को बेहतरीन पास दिया। हालांकि, वह अपनी टीम की बढ़त को दोगुना नहीं कर पाए।
क्रोएशिया के कोच ज्लाटको डालिक ने 62वें मिनट में फारवर्ड खिलाड़ी एंद्रेज करामारिक की जगह मिडफील्डर मासेर्लो ब्राजोविक को मैदान में भेजा जिसके कारण मोड्रिक एक अटैकिंग मिडफील्डर के रूप में खेले।
मैच के 71वें मिनट में नाईजीरिया के विलियम ट्रस्ट-इकोंग ने मांजुकिक को बॉक्स के अंदर गिरा दिया जिसके कारण क्रोएशिया को पेनाल्टी मिली। कप्तान मोड्रिक ने पेनाल्टी पर गोल करने में कोई गलती नहीं की और अपनी टीम को 2-0 से आगे कर दिया।
मैच के अंतिम क्षणों में नाइजीरिया ने हार के अंतर को कम करने का प्रयास किया लेकिन वह क्रोएशिया को तीन अंक लेने से नहीं रोक पाए।
क्रोएशिया ग्रुप डी के अपने अगले मुकाबले में गुरुवार को अर्जेटीना से भिड़ेगी जबकि नाइजीरिया का सामना आइसलैंड से होगा।
डेनमार्क और पेरू
इस रोमांचक मुकाबले में डेनमार्क की जीत के हीरो इश्माइकल रहे जिन्होंने मैच में, खासकर दूसरे हाफ में कई शानदार बचाव करते हुए पेरू को बराबरी नहीं करने दी और अपनी टीम को पूरे तीन अंक दिलाए।
पेरू ने पहले हाफ में ज्यादा मौके नहीं बनाए थे, लेकिन दूसरे हाफ में उसकी आक्रमण पंक्ति ने अधिकतर समय डेनमार्क के खेमे में बिताया। हालांकि उसके खिलाड़ी इश्माइकल की बाधा को पार नहीं कर पाए।
पहले हाफ में पेरू के पास सबसे अच्छा और बेहद आसान मौका अंतिम समय के इंजुरी टाइम में आया जब उसे वर्जअल अस्सिटेंट रेफरी (वीएआर) की मदद से पेनाल्टी मिली। क्रिस्टियन क्वेवा गेंद लेकर डेनमार्क के खेमे में जा रहे थे। तभी पाउलसन ने उनका रास्ता रोकने की कोशिश की। इस कोशिश में उन्होंने क्वेवा को गिरा दिया। रेफरी ने वीएआर का इस्तेमाल किया और पेरू को पेनाल्टी दी।
पेनाल्टी को गोल में तब्दील करने की जिम्मेदारी क्वेवा पर ही थी, लेकिन क्वेवा गेंद को बार के काफी ऊपर मार बैठे और पेरू के खिलाड़ी तथा प्रशंसकों को मायूसी हाथ लगी।
इससे पहले, पेरू को मैच के 12वें मिनट में भी गोल करने का शानदार मौका मिला था। पेरू के आंद्रे कारिलो ने डेनमार्क के तीन डिफेंडरों को छकाते हुए गोलपोस्ट पर निशना साधा जिसे विपक्षी टीम के गोलकीपर इश्माइकल ने रोक लिया।
27वें मिनट में डेनमार्क के थॉमस डेलनी ने गोल करने का बेहतरीन प्रयास जो अंतत: विफल रहा। 30 यार्ड से खेला गया उनका शॉट बार के ऊपर से निकल गया। 38वें मिनट में डेनमार्क को फ्री किक जरिए गोल करने को एक और करीबी मौका मिला। यह मौक भी पेरू के डिफेंस ने डेनमार्क को भुनाने नहीं दिया। पहले हाफ में दोनों टीमें गोल करने में विफल रहीं।
दूसरे हाफ में पाउलसन ने आखिरकार डेनमार्क को बढ़त दिला दी। 59वें मिनट में क्रिस्टियन एरिकसन ने मैदान के बीच से गेंद ली और बाएं छोर से गोलपोस्ट की तरफ दौड़ पड़े। उनके साथ-साथ पाउलसन भी थे। मौका पाते ही एरिकसन ने पाउसन को पास दिया और पाउलसन ने बड़ी सफाई से गेंद को गोलपोस्ट के बाएं कोने में डाल डेनमार्क को 1-0 से आगे कर दिया।
पेरू ने कुछ देर बाद ही पलटवार किया। एडिसन फ्लोरेस ने गेंद क्वेवा को पास दी और वह हड़बड़ी में एक आसान सा मौका गवां बैठे। इसके बाद पेरू को कई आसान और शानदार मौके मिले, लेकिन गोलकीपर इश्माइकल उसकी राह में रोड़ा बनाकर खड़े रहे और उसे बराबरी से दूर ही रखा।
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