बिहार NDA में जनता का हितैषी दिखने की मची होड़, बीजेपी, जेडीयू के बाद 'हम' ने 'जनता दरबार' लगाने का किया ऐलान
नीतीश सरकार में शामिल एनडीए के घटक दल के मंत्री भले ही अपना-अपना 'जनता दरबार' लगाकर लोगों की फरियाद सुन रहे हैं, लेकिन जनता की समस्या का कितना समाधान हो रहा है, यह देखने वाली बात होगी। सच तो ये है कि एनडीए के सभी दल अपने संगठन विस्तार में जुटे हैं।
राजनीति में लोगों की समस्या सुनना और समाधान के प्रयास करना कोई नई बात नहीं है, लेकिन बिहार में सत्ताधारी गठबंधन एनडीए के घटक दलों में 'जनता दरबार' लगाने की होड सी मच गई है। एनडीए सरकार में शामिल बीजेपी और जेडीयू के मंत्रियों के बाद अब पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी की पार्टी हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (हम) के भी मंत्री अब फरियादियों की फरियाद सुनेंगे।
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कई वर्षो के बाद इस साल फिर से 'जनता दरबार में मुख्यमंत्री' कार्यक्रम के तहत फरियादियों की समस्या सुनने और त्तकाल उनका समाधान निकालने की प्रक्रिया की शुरुआत की है। मुख्यमंत्री के इस जनता दरबार कार्यक्रम में अधिकारी और संबंधित विभाग के मंत्री भी उपस्थित रहते हैं।
इधर, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के जनता दरबार की बढ़ती लोकप्रियता को देखते हुए बीजेपी भी पीछे नहीं रही और नीतीश सरकार में बीजेपी कोटे के मंत्रियों ने भी पार्टी के प्रदेश कार्यालय में निश्चित तिथि पर जनता दरबार लगाकर फरियादियों की फरियाद सुनने की शुरुआत कर दी। बीजेपी ने अपने इस कार्यक्रम का नाम 'सहयोग' रखा है। बीजेपी के मंत्रियों के लिए अलग-अलग दिन तय किए गए हैं, जो निश्चित दिन को पहुंचते हैं और कार्यकर्ताओं तथा लोगों की समस्या सुनते हैं।
बीजेपी के इस कदम के बाद एनडीए के प्रमुख घटक दल और सीएम नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू के मंत्री भी पार्टी के प्रदेश कार्यालय में जनता दरबार लगाने लगे और जनता की समस्याएं सुनने लगे। अब बीजेपी और जेडीयू की देखादेखी एनडीए सरकार में शामिल पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी की पार्टी हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (हम) के मंत्री ने भी जनता दरबार लगाने की घोषणा कर दी है।
हम के प्रवक्ता दानिश रिजवान ने बताया की पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी के आवास पर आगामी 31 अगस्त 2021 से प्रत्येक मंगलवार को सुबह 11 बजे से जनता दरबार लगाने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने कहा कि लघु जल संसाधन एवं अनुसूचित जाति, जनजाति कल्याण मंत्री डॉ. संतोष कुमार सुमन लोगों की फरियाद सुनेंगे।
माना जा रहा है कि एनडीए में शामिल सभी दल अपने संगठन विस्तार में जुटे हैं। यही कारण है कि सभी दल जनता से सीधे जुड़ना चाह रहे हैं। बिहार में सत्ताधारी एनडीए में बीजेपी, जेडीयू और हम के अलावे विकासशील इंसान पार्टी शामिल हैं। बहरहाल, एनडीए के घटक दल के मंत्री भले ही 'जनता दरबार' लगाकर लोगों की फरियाद सुन रहे हैं, लेकिन जनता की समस्या का कितना समाधान हो रहा है, यह देखने वाली बात होगी।
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