हरियाणाः 2019 के विधानसभा चुनाव में किंगमेकर बनी JJP का इस चुनाव में सफाया हो गया

हरियाणा में दलित वोट हासिल करने के मकसद से इस चुनाव में जेजेपी ने आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) के साथ गठबंधन किया था लेकिन उसे फायदा नहीं मिला। हालत ये रही कि पूर्व डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला को भी उचाना कलां सीट पर जबरदस्त हार का सामना करना पड़ा है।

हरियाणा में 2019 में किंगमेकर बनी JJP का इस चुनाव में सफाया हो गया
हरियाणा में 2019 में किंगमेकर बनी JJP का इस चुनाव में सफाया हो गया
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नवजीवन डेस्क

हरियाणा में 2019 के विधानसभा चुनाव के बाद राज्य में सरकार बनाने में अहम भूमिका निभाने वाली जननायक जनता पार्टी (जेजेपी) को इस चुनवा में बड़ा झटका लगा है। 2019 में किंगमेकर बनने के पांच साल बाद जेजेपी का राज्य में सफाया हो गया है। पार्टी की हालत ये रही कि पूर्व उप मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला को भी उचाना कलां विधानसभा सीट पर जबरदस्त हार का सामना करना पड़ा है। वह 2019 के चुनाव में इसी सीट से जीते थे।

पिछले विधानसभा चुनाव में जेजेपी राज्य की 90 में से 10 सीट पर जीती और ‘किंगमेकर’ के रूप में उभरी थी। उसने, 40 सीट जीतकर सामान्य बहुमत से छह सीट पीछे रह गई भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के साथ चुनाव के बाद गठबंधन किया। मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व में बनी बीजेपी-जेजेपी सरकार में दुष्यंत चौटाला को उप मुख्यमंत्री बनाया गया था।


अजय सिंह चौटाला के नेतृत्व वाली पार्टी पारिवारिक कलह के कारण दिसंबर 2018 में मूल पार्टी इंडियन नेशनल लोकदल (आईएनएलडी) से अलग होकर बनी थी। स्थापना के बाद पार्टी के ग्राफ में अचानक वृद्धि देखी गई और इस साल मार्च में बीजेपी के साथ गठबंधन समाप्त होने के बाद उसके समर्थन आधार में गिरावट देखी गई। बीजेपी ने मार्च में मनोहर लाल खट्टर को हटाकर नायब सिंह सैनी को मुख्यमंत्री बनाया था और नेतृत्व परिवर्तन के बाद गठबंधन टूट गया था।

जेजेपी ने 2024 के लोकसभा चुनाव में सभी 10 सीट पर अपने उम्मीदवार उतारे थे लेकिन उसे एक भी सीट नहीं मिली। जेजेपी उम्मीदवारों की जमानत तक जब्त हो गई थी। इसके बाद जेजेपी के प्रदेश अध्यक्ष निशान सिंह ने पार्टी छोड़ दी और उसके बाद 10 में से सात विधायक कांग्रेस या बीजेपी में चले गए।


हरियाणा में दलित वोट हासिल करने के मकसद से इस चुनाव में जेजेपी ने आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) के साथ चुनाव पूर्व गठबंधन किया था लेकिन उसे फायदा नहीं मिला। पूर्व उप प्रधानमंत्री देवीलाल के प्रपौत्र दुष्यंत चौटाला (36) ने पिछले महीने पूर्वानुमान व्यक्त किया था कि विधानसभा चुनाव में कोई भी पार्टी 40 सीट के आंकड़े को पार नहीं कर पाएगी।

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