NHRC ने नकली कैंसर की दवाओं के मामले में केंद्र, दिल्ली और UP सरकार को भेजा नोटिस, इतने दिनों में देना होगा जवाब
राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने नकली कैंसर की दवाएं बेचने वाले सिंडिकेट का भंडाफोड़ करने के मामले में केंद्र, दिल्ली और उत्तर प्रदेश सरकारों को नोटिस भेजकर छह हफ्ते में जवाब मांगा है।
राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने नकली कैंसर की दवाएं बेचने वाले सिंडिकेट का भंडाफोड़ करने के मामले में केंद्र, दिल्ली और उत्तर प्रदेश सरकारों को नोटिस भेजकर छह हफ्ते में जवाब मांगा है। बता दें कि हाल ही में दिल्ली में नकली जीवन रक्षक कैंसर दवाओं के निर्माण और बिक्री के एक अंतरराष्ट्रीय रैकेट का भंडाफोड़ हुआ है।
राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग ने एक बयान जारी कर बताया कि उन्होंने मीडिया रिपोर्ट का स्वत: संज्ञान लिया है, जिसमें दिल्ली में नकली जीवन रक्षक कैंसर दवाओं के निर्माण और बिक्री के एक अंतरराष्ट्रीय रैकेट का भंडाफोड़ हुआ है। खबर के मुताबिक इस सिंडिकेट के 7 सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है। इनमें एक एमबीबीएस डॉक्टर, तीन दवा कंपनियों के मालिक और एक इंजीनियर शामिल हैं। वहीं जांच के दायरे में दो और डॉक्टर फरार हैं।
आयोग ने पाया है कि यदि यह सही है, तो निर्दोष कैंसर रोगियों के जीवन के अधिकार का घोर उल्लंघन है। इसको लेकर आयोग ने केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के सचिव और दिल्ली के पुलिस आयुक्त को नोटिस जारी कर 6 सप्ताह के भीतर मामले में विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। वहीं आयोग ने दिल्ली और उत्तर प्रदेश सरकारों के मुख्य सचिवों से भी छह सप्ताह के भीतर रिपोर्ट मांगी है कि किस तरह से ड्रग एंड कॉस्मेटिक्स रूल्स, 1945 के कड़े प्रावधानों की परवाह किए बिना लोक सेवकों सहित फर्जी ड्रग्स सिंडिकेट लगातार मरीजों की जान से खिलवाड़ कर रहे हैं।
आयोग ने कहा कि रिपोर्ट में उन स्थानों को दशार्ने वाला डेटा, जहां इन नकली दवाओं की आपूर्ति की गई और रोगियों द्वारा इसका सेवन किया गया, इन नकली दवाओं के प्रतिकूल प्रभावों के विवरण और ऐसे रोगियों की वर्तमान स्वास्थ्य स्थिति पर ऐसी नकली दवाओं का प्रभाव शामिल होना चाहिए। आयोग इस मामले में पुलिस जांच की प्रगति के बारे में भी जानना चाहता है जिसमें बाकी अपराधियों की गिरफ्तारी भी शामिल है।
आईएएनएस के इनपुट के साथ
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