मोदी कोबिनेट ने कृषि कानूनों की वापसी के प्रस्ताव को दी मंजूरी, अब गरीबों को मार्च 2022 तक मिलेगा मुफ्त राशन

कैबिनेट के फैसलों की जानकारी देते हुए केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि आज कैबिनेट ने कृषि कानूनों की वापसी के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। संसद के आगामी सत्र के दौरान इन तीन कानूनों को वापस लेना हमारी प्राथमिकता होगी।

फाइल फोटोः सोशल मीडिया
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नवजीवन डेस्क

पीएम मोदी के ऐलान के बाद अब कृषि कानूनों की वापसी का रास्ता भी साफ हो गया है। आज केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में कृषि कानूनों की वापसी के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई। इसके अलावा कैबिनेट ने आज एक और अहम फैसला लेते हुए गरीबों को मार्च 2022 तक मुफ्त राशन प्रदान करने के लिए पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना का विस्तार करने का निर्णय लिया है।

कैबिनेट बैठक के फैसलों की जानकारी देते हुए केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि आज कैबिनेट ने कृषि कानूनों की वापसी के प्रस्ताव तो मंजूर कर लिया है, जिसे अब संसद के शीतकालीन सत्र में पेश किया जाएगा। अनुराग ठाकुर ने कहा कि आज पीएम के नेतृत्व में कैबिनेट ने तीन कृषि कानूनों को निरस्त करने की औपचारिकताएं पूरी कीं। संसद के आगामी सत्र के दौरान इन तीन कानूनों को वापस लेना हमारी प्राथमिकता होगी।

अनुराग ठाकुर ने बताया कि गरीबों को मार्च 2022 तक मुफ्त राशन प्रदान करने के लिए पीएम गरीब कल्याण अन्न योजना का विस्तार करने का निर्णय लिया है। अब पीएमजीकेएवाई को मार्च 2022 तक चार महीने के लिए बढ़ा दिया गया है। इस योजना के तहत 80 करोड़ से अधिक लाभार्थियों को प्रति व्यक्ति प्रति माह 5 किलो खाद्यान्न मुफ्त प्रदान किया जा रहा है।

कोरोना महामारी के कारण लगाए गए लॉकडाउन के दौरान गरीब लोगों को राहत प्रदान करने के लिए यह योजना शुरू में अप्रैल 2020 से तीन महीने के लिए शुरू की गई थी। तब से इसे कई बार बढ़ाया जा चुका है। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) के तहत प्रति व्यक्ति सामान्य कोटे से अधिक 5 किलो खाद्यान्न उपलब्ध कराया जा रहा है। पांचवें चरण के तहत खाद्यान्न पर 53,344.52 करोड़ रुपये की अनुमानित खाद्य सब्सिडी होगी।

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