साथियों की मौत से भड़के नक्सली, 48 घंटे बिहार-झारखंड बंद का किया ऐलान, हाई अलर्ट पर पुलिस और सुरक्षा बल
संगठन ने सुरक्षाबलों पर नक्सलियों के खिलाफ साजिश रचने और उन्हें मारने का आरोप लगाते हुए कहा कि चतरा जिले में 3 अप्रैल को फर्जी मुठभेड़ हुई थी, जिसमें सुरक्षाबलों ने गौतम पासवान, अमर कुमार, नानू, संजीत कुमार और अजीत कुमार समेत 5 माओवादियों को मार गिराया था।
झारखंड के चतरा में 3 अप्रैल को पुलिस मुठभेड़ में नक्सली समूह भाकपा (माओवादी) के पांच सदस्यों के मारे जाने से आक्रोशित नक्सली समूह ने बिहार-झारखंड के नक्सल बहुल इलाकों में गुरुवार से 48 घंटे के बंद का ऐलान किया है, जिसे देखते हुए दोनों राज्यों की पुलिस और सुरक्षा बलों ने चौकसी बढ़ा दी है।
बंद का पालन नहीं करने पर नक्सलियों ने ग्रामीणों को गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी है। इस धमकी के मद्देनजर बिहार के कई जिलों जैसे गया, औरंगाबाद, शेखपुरा, लखीसराय, मुंगेर, नवादा, जहानाबाद, अरवल, रोहतास, कैमूर और अन्य जिलों को हाई अलर्ट पर रखा गया है। पुलिस और सुरक्षा बल के जवान विशेष सतर्कता बरत रहे हैं।
नक्सल बहुल गया जिले के इमामगंज के एसडीपीओ मनोज राम ने कहा, हम नक्सल समूहों पर नजर रख रहे हैं और ग्रामीणों को सतर्क रहने के लिए कहा है। हम वरिष्ठ अधिकारियों के आदेशों का पालन कर रहे हैं और अर्धसैनिक बलों के साथ समन्वय कर रहे हैं। इससे पहले नक्सली समूहों ने 14 और 15 अप्रैल को बंद का आह्वान किया था।
भाकपा माओवादी ने दावा किया है कि चतरा जिले में 3 अप्रैल को 'फर्जी' मुठभेड़ हुई थी, जिसमें पुलिस और सुरक्षाबलों ने पांच माओवादी गौतम पासवान, अमर कुमार, नानू, संजीत कुमार और अजीत कुमार को मार गिराया था। नक्सली संगठन ने सुरक्षाबलों पर नक्सलियों के खिलाफ साजिश रचने और उन्हें मारने का आरोप लगाया है।
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