ममता बनर्जी ने कोलकाता में विरोध रैली का नेतृत्व किया, मृतक महिला डॉक्टर के लिए मांगा न्याय
रैली में ममता ने कहा कि हम चाहते हैं कि सच सामने आए, लेकिन लोगों को गुमराह करने के लिए झूठ फैलाया जा रहा है। सोशल मीडिया पर फर्जी खबरें फैलाकर सच्चाई छिपाने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि वामपंथियों और बीजेपी के गठजोड़ का पर्दाफाश होना चाहिए।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शुक्रवार को कोलकाता में मौलाली से डोरीना चौराहे तक एक विरोध रैली का नेतृत्व किया, जिसमें उस महिला डॉक्टर के लिए न्याय की मांग की गई जिसकी पिछले सप्ताह एक सरकारी अस्पताल में कथित तौर पर बलात्कार के बाद हत्या कर दी गयी थी। बनर्जी के साथ आए तृणमूल कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने आरोपियों को मृत्युदंड देने की मांग करते हुए नारे लगाए।
रैली के दौरान पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि हम चाहते हैं कि सच सामने आए, लेकिन लोगों को गुमराह करने के लिए झूठ फैलाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि वामपंथियों और बीजेपी के गठजोड़ का पर्दाफाश होना चाहिए। महिला डॉक्टर की मौत के खिलाफ प्रदर्शन पर ममता बनर्जी ने कहा कि सोशल मीडिया पर फर्जी खबरें प्रसारित कर सच्चाई छिपाने की कोशिश की जा रही है।
महिला स्नातकोत्तर प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ 9 अगस्त को आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल के सेमिनार कक्ष में कथित तौर पर बलात्कार किया गया और उसकी हत्या कर दी गई। अगले दिन अपराध के सिलसिले में एक स्वयंसेवक को गिरफ्तार किया गया। घटना के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान गुरुवार तड़के करीब 40 लोगों के एक समूह ने अस्पताल में घुसकर आपातकालीन विभाग, नर्सिंग यूनिट और दवा स्टोर में तोड़फोड़ की।
वहीं, रेप-हत्या मामले को दबाने के लग रहे आरोपों पर कोलकाता पुलिस आयुक्त विनीत कुमार गोयल ने आज प्रेस कांफ्रेंस कर कहा कि बहुत सारी अफ़वाहें उड़ रही हैं जिनका कोई आधार नहीं है और उनके आधार पर बहुत से तथाकथित विशेषज्ञ कहानियां गढ़ रहे हैं। मामला अब सीबीआई के पास चला गया है और हमें एजेंसी पर भरोसा रखना चाहिए। हमारे पास जो बहुत कम समय था, उसमें हमारे अधिकारियों ने हर संभव कोशिश की।
पुलिस आयुक्त ने कहा कि यह गलत है कि हमने पीड़िता के परिवार को सूचित किया कि उसने आत्महत्या की है। यह गलत है कि उसके शरीर में 150 ग्राम वीर्य पाया गया। समझ में नहीं आता कि यह क्यों फैलाया जा रहा है कि हम मामले को दबाना चाहते थे और इसे खत्म करना चाहते थे। वीडियोग्राफी की गई और परिवार और दोस्तों की मौजूदगी में सभी सबूत एकत्र किए गए। तीन सदस्यीय टीम ने पोस्टमार्टम किया और यह वीडियो में है। सीबीआई के पास पोस्टमार्टम वीडियो तक पहुंच है। जहां तक पारदर्शिता का सवाल है, इसमें कोई संदेह नहीं है। हमारे अधिकारी सीबीआई के साथ हर तरह से सहयोग कर रहे हैं।
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