महाराष्ट्र: धर्माबाद कोर्ट ने आंध्र प्रदेश के सीएम सहित 15 लोगों के खिलाफ जारी किया गिरफ्तारी वारंट
महाराष्ट्र की एक अदालत ने 2010 में हुए एक प्रोटेस्ट के मामले में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू और 15 अन्य के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया है।
महाराष्ट्र की एक कोर्ट ने आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू और 15 अन्य के खिलाफ 2010 में गोदावरी नदी पर बाबली परियोजना के विरोध प्रदर्शन के मामले में गैर-जमानती वारंट (एनबीडब्ल्यू) जारी किया है। धर्माबाद कोर्ट (नांदेड़) के न्यायिक मजिस्ट्रेट एनआर गजभिये ने गुरुवार को एन चंद्रबाबू नायडू और उनके मंत्रीमंडल के सहयोगियों, सिंचाई मंत्री डीयू राव, समाज कल्याण मंत्री जी कमलाकर और 12 अन्य के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किया।
पुलिस को उन्हें गिरफ्तार करने और 21 सितंबर को अगली सुनवाई में कोर्ट के समक्ष पेश करने का आदेश दिया है।
इस मामले पर टीडीपी के प्रवक्ता लंका दिनाकरन ने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया गया है। इसके अलावा उन्होंने बीजेपी पर हमला बोलते हुए कहा कि ऐसा लगता है कि नरेंद्र मोदी और अमित शाह ने की साजिश है।
यह घटना तब हुई जब तेलुगू देशम पार्टी (टीडीपी) ने महाराष्ट्र सरकार की बाबली बैराज परियोजना के निर्माण को अवैध बताते हुए बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया था। यह परियोजना कथित रूप से तब के अविभाजित आंध्र प्रदेश के तेलंगाना क्षेत्र से गोदावरी नदी के पानी को मोड़ने के लिए लाई गई थी।
उस समय विधानसभा में विपक्ष के नेता नायडू 40 विधायकों के साथ निषेधाज्ञा को धता बताते हुए बैराज के समीप पहुंच गए थे। पुलिस ने कुछ प्रदर्शनकारियों पर बल प्रयोग किया था और बाद में सबको गिरफ्तार कर लिया था।
बाद में, जैसा कि नायडू ने जमानत लेने से इनकार कर दिया था, उन्हें विमान से वापस हैदराबाद भेजा गया था और फिर सभी प्रदर्शनकारियों पर विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज किया गया।
(आईएएनएस के इनपुट के साथ)
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