अब जाम छलकाने के लिए भी जरूरी हो सकता है आधार, शराब खरीदने के लिए कराना होगा लिंक
कर्नाटक के मंगलुरू में आबकारी विभाग शराब खरीदने के लिए आधार नंबर को अनिवार्य करने पर विचार कर रहा है। ऐसा होने पर शराब खरीदने वालों के आधार को बोतलों से लिंक किया जाएगा, जिससे खाली बोतलों को लापरवाही से फेंकने वालों का आसानी पता चल सकेगा।
केंद्र की मोदी सरकार की राह पर चलते हुए कर्नाटक के मंगलुरू में आबकारी विभाग ने शराब खरीदने के लिए आधार नंबर को अनिवार्य करने की योजना बनाई है। अगर ये योजना अमल में आती है ते शराब खरीदने के लिए आधार नंबर बताना अनिवार्य हो जाएगा। इसके तहत शराब खरीदने वालों को दुकान पर अपना आधार नंबर बताना पड़ेगा, जिसके बाद शराब की बोतल के बारकोड को स्कैन कर उसे उस आधार नंबर से जोड़ा जाएगा।
दरअसल सार्वजनिक स्थानों पर फेंकी जाने वाली खाली शराब की बोतलों से पर्यावरण को हो रही समस्या से निपटने के उपायों के तहत मंगलुरू के आबकारी विभाग ने आबकारी आयुक्त से शराब की बिक्री को आधार नंबर से जोड़ने पर राय मांगी थी। इसके बाद विभाग ने एक प्रस्ताव तैयार किया है, जिसमें शराब की बोतलों के बार कोड के साथ खरीदारों के आधार नंबर को जोड़ा जाएगा, जिससे खाली बोतलों को लापरवाही से यहां-वहां छोड़ने वालों का पता चल सके और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा सके।
ऐसा होने पर शराब दुकानों के आसपास और सार्वजनिक स्थानों पर छोड़ी गईं टूटी-फूटी सहित सभी बोतलों के बार कोड को स्कैन करके नियमों का पालन ना करने वालों का पता लगाया जा सकेगा। उसके बाद आधार एंट्री की जांचकर दुकान और खरीदार दोनों की पहचान की जाएगी और दोषियों पर कठोर जुर्माना लगाया जाएगा।
बताया जा रहा है कि इसके लिए सभी शराब दुकानें बिक्री की एक लिस्ट रखेंगी, जिसमें हर ग्राहक का आधार और मोबाइल नंबर पंजीकृत होगा। इस लिस्ट के आधार पर बार कोड को स्कैन करने से बैच नंबर और पॉइंट ऑफ सेल का पता आराम से लग जाएगा। इस मामले पर आबाकारी विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि फिलहाल इस प्रस्ताव पर अभी चर्चा चल रही है और अंतिम फैसला होने से पहले सभी हितधारकों से मशवरा किया जाएगा।
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