कांग्रेस के 4 सांसदों को लोकसभा में मंहगाई और GST का विरोध करना पड़ा भारी, पूरे सत्र के लिए निलंबित
सदन में स्पीकर की जिम्मेदारी संभाल रहे राजेन्द्र अग्रवाल ने नियम 374 के तहत लगातार जानबूझकर सदन के कार्य में बाधा डालने, अध्यक्षीय़ आदेश की उपेक्षा करने और सदन के नियमों का दुरुपयोग करने के आरोप में कांग्रेस के 4 सांसदों को पूरे सत्र के लिए निलंबित कर दिया।
लोकसभा में देश में बढ़ती मंहगाई और खाद्य पदार्थों पर भारी जीएसटी लगाने का विरोध करना कांग्रेस के चार सांसदों को भारी पड़ गया है। इन मुद्दों पर लोकसभा में विपक्ष के लगातार हंगामे के बीच आज सदन से चार कांग्रेस सांसदों- मणिक्कम टेगोर, टीएन प्रतापन, ज्योतिमणी, रम्या हरिदास को पूरे सत्र के लिए निलंबित कर दिया गया।
सोमवार दोपहर बाद लोकसभा में स्पीकर की जिम्मेदारी संभाल रहे राजेन्द्र अग्रवाल ने नियम 374 का हवाला देते हुए जानबूझकर लगातार सदन के कार्य में बाधा डालने, अध्यक्ष के प्राधिकार की उपेक्षा करने और सदन के नियमों का दुरुपयोग करने के आरोप में कांग्रेस के मणिक्कम टेगोर, टीएन प्रतापन, ज्योतिमणी, रम्या हरिदास के नाम लिए और इनके निलंबन का प्रस्ताव दिया, जिस पर सर्वसम्मति से चारों सदस्यों को पूरे सत्र के लिए निलंबित कर दिया गया।
कांग्रेस के निलंबित सांसद मणिक्कम टैगोर ने बाहर आने के बाद कहा कि हमें संसद में लोगों की आवाज उठाने के लिए सदन से निलंबित कर दिया गया है। हम देश की जनता के लिए लड़ते रहेंगे। संसद में सौ चीजों की अनुमति नहीं है, केवल मोदी जी और अमित शाह जी की जय-जयकार करने की अनुमति है।
इससे पहले सोमवार को देश की नई राष्ट्रपति द्रौपदी मूर्मु के शपथ ग्रहण समारोह के बाद दो बजे जब लोकसभा की कार्यवाही शुरू हुई तो विपक्ष महंगाई, जीएसटी समेत कई मुद्दों पर हंगामा करने लगा। इसके बाद स्पीकर ने कहा कि सरकार सभी मुद्दों पर चर्चा के लिए तैयार है और सदस्य बैनर, पोस्टर सदन में ना लहराएं। इसके बाद सदन की कार्यवाही 3 बजे तक के लिए स्थगित हो गई।
इस दौरान सदन में विपक्षी सदस्यों ने जीएसटी की नई दरों और महंगाई के मुद्दे पर विरोध प्रदर्शन जारी रखा। इस दौरान कुछ सदस्य बैनर, पोस्टर लहराते दिखाई दिए। स्पीकर ने उनको चेतावनी देते हुए कहा कि सदन के कानून का उल्लंघन ना करें। स्पीकर ओम बिड़ला ने प्रदर्शन कर रहे सांसदों को कार्रवाई की चेतावनी देते हुए कहा कि इस तरीके से सदन नहीं चल सकता। उन्होंने कहा कि सदन की मर्यादा रखना सदस्यों की जिम्मेदारी है। उन्होंने चेतावनी दी कि जो सदस्य तख्तियां लेकर आएंगे उन्हें सदन की कार्यवाही में शामिल नहीं होने दिया जाएगा। इसके थोड़ी देर बाद आसन ने कांग्रेस के चार सांसदों को निलंबित कर दिया।
उधर, राज्यसभा में भी विपक्ष ने आज आक्रामक तरीके से नारेबाजी की। चेयर पर बैठे सस्मित पात्रा विपक्ष से शांति बनाए रखने के लिए आग्रह करते रहे, लेकिन भारी हंगामे के बीच कार्यवाही नहीं हो सकी। सदन को 4 बजे तक के लिए स्थगित करना पड़ा। इससे पहले विपक्ष ने चर्चा के लिए स्थगन नोटिस दिया था लेकिन सरकार ने इसे नामंजूर कर दिया। आप के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने भी नियम 267 के तहत स्थगन नोटिस दिया था और सीबीआई और ईडी के 'दुरुपयोग' पर चर्चा की मांग की थी।
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