UP: बिकरु मामले में 23 दोषियों को 10-10 साल की सजा, 7 आरोपी दोषमुक्त, सीओ समेत 8 पुलिसवालों की हुई थी हत्या
बिकरु कांड की घटना 2 जुलाई 2020 की है। जहां चौबेपुर क्षेत्र के बिकरु गांव में दबिश देने गई पुलिस टीम पर विकास दुबे के गुर्गों ने फायरिंग कर दी थी। इस फायरिंग में 8 पुलिसवालों की जान चली गई थी।
उत्तर प्रदेश के कानपुर के चर्चित बिकरु कांड से जुड़े गैंगस्टर के मामले में कोर्ट ने आज दोषियों को सजा सुनाई है। कानपुर देहात की गैंगेस्टर कोर्ट ने कुख्यात विकास दुबे के गैंग से जुड़े 23 दोषियों को 10-10 साल कैद की सजा सुनाई है। इसके अलावा सभी दोषियों पर 50-50 हजार का जुर्माना भी लगाया गया है। वहीं गैंगेस्टर कोर्ट ने इस मामले में सात आरोपियों को बरी भी किया है।
बता दें, कानपुर के बिकरु कांड की घटना 2 जुलाई 2020 की है। जहां चौबेपुर क्षेत्र के बिकरु गांव में दबिश देने गई पुलिस टीम पर विकास दुबे के गुर्गों ने फायरिंग कर दी थी। इस फायरिंग में 8 पुलिसवालों की जान चली गई थी। सीओ समेत आठ पुलिस कर्मियों की हत्या के मामले में पुलिस ने 30 आरोपियों पर गैंगस्टर का मामला दर्ज करके उनके खिलाफ चार्जशीट कोर्ट में भेजी थी। इस मामले की सुनवाई एडीजे-5 दुर्गेश की कोर्ट में चल रही थी। कोर्ट ने मामले में 23 आरोपितों को दोष सिद्ध किया, जबकि सात आरोपियों को दोषमुक्त कर दिया।
ये हैं 23 दोषियों के नाम
कोर्ट ने हीरु दुबे उर्फ धर्मेन्द्र, श्यामू बाजपेई, जहान सिंह यादव, दयाशंकर अग्निहोत्री उर्फ कल्लू, बब्लू मुसलमान उर्फ इस्लाम बेग, रामू बाजपेई, शशिकांत पांडेय उर्फ सोनू, शिव तिवारी उर्फ आशुतोष, विष्णुपाल उर्फ जिलेदार, शिवम दुबे उर्फ अजीत उर्फ बीडीसी, रामसिंह यादव, गोविंद सैनी, उमाकांत उर्फ गुड्डन उर्फ बउवन शुक्ल, जयकांत बाजपेई उर्फ जय, शिवम दुबे उर्फ दलाल, धीरेन्द्र कुमार धीरु उर्फ धीरज द्विवेदी, मनीष उर्फ बीरु, वीर सिंह उर्फ नन्हूं यादव, राहुल पाल, अखिलेश दीक्षित उर्फ श्याम जी, छोटू शुक्ला उर्फ अखिलेश, सुरेश वर्मा व गोपाल सैनी को बिकरु कांड में दोषी पाया है।
Google न्यूज़, नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें
प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia