गाजा में 'मानव निर्मित' भुखमरी, पूरी आबादी मदद पर निर्भर, तत्काल युद्धविराम चाहता है संयुक्त राष्ट्र
यूएन अधिकारी फिलिप लाजारिनी ने कहा कि गाजा में भूख "पूरी तरह से मानव निर्मित है लगभग 70 प्रतिशत फसलें नष्ट हो गई हैं। पूरी आबादी को केवल मानवीय सहायता पर निर्भर रहना पड़ता है।"
यूएन अधिकारी फिलिप लाजारिनी ने चेतावनी दी कि इजरायल के लगातार हमलों के बीच गाजा में भुखमरी फैल रही है। उन्होंने बुधवार को एक्स पर लिखा, "अगस्त में गाजा में 10 लाख से अधिक लोगों को खाद्यान्न राशन नहीं मिला और सितंबर तक यह संख्या बढ़कर 14 लाख से अधिक हो गई।"
लाजारिनी, नियर ईस्ट में फिलिस्तीनी शरणार्थियों के लिए यूनाइटेड नेशन रिलीफ एंड वर्क्स एजेंसी (यूएनआरडब्ल्यूए) के कमिश्नर जनरल हैं। उन्होंने कहा कि असुरक्षा, क्षतिग्रस्त सड़कों और कानून-व्यवस्था के टूटने की वजह से गाजा में 100,000 मीट्रिक टन से अधिक खाद्य आपूर्ति बाधित हो गई है।
लाज़ारिनी ने कहा कि गाजा में भूख "पूरी तरह से मानव निर्मित है लगभग 70 प्रतिशत फसलें नष्ट हो गई हैं। पूरी आबादी को केवल मानवीय सहायता पर निर्भर रहना पड़ता है।"
सिन्हुआ समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, कमिश्नर-जनरल के अनुसार, जैसे-जैसे सर्दी आ रही है और मौसम की स्थिति खराब हो रही है, पर्याप्त मानवीय आपूर्ति की कमी से केवल और अधिक पीड़ा ही पैदा होगी। लाजारिनी ने कहा, "गाजा और पूरे क्षेत्र में लोगों की पीड़ा को समाप्त करने के लिए हमें तत्काल युद्धविराम की आवश्यकता है।"
इससे पहले यूएनआरडब्ल्यूए ने रविवार को कहा कि गाजा पट्टी में लोग अमानवीय हालात में जिंदगी जीने को मजबूर हैं। यूएन एजेंसी ने ट्वीट कर कहा, "गाजा में स्वच्छता और रहने की स्थिति अमानवीय है।"
यूएनआरडब्ल्यूए के मुताबिक, "गाजा के मध्य क्षेत्रों में कचरे के पहाड़ जमा हो रहे हैं, सीवेज का पानी सड़कों पर बह रहा है, परिवार कचरे के ढेर के पास रहने को मजबूर हैं।'
बता दें कि 7 अक्टूबर 2023 को फिलिस्तीनी आतंकवादी ग्रुप हमास ने इजरायल में बड़ा हमला किया था। इसमें लगभग 1,200 लोग मारे गए थे और करीब 250 का अपहरण किया गया था।
इसके बाद इजरायल ने हमास के खिलाफ युद्ध की घोषणा कर दी और गाजा पट्टी में सैन्य ऑपरेशन शुरू किया। इजरायली हमलों में गाजा में बड़े पैमाने पर जानमाल का नुकसान हुआ है।
अलजजीरा की गुरुवार की एक रिपोर्ट के मुताबिक गाजा में अक्टूबर 2023 से अब तक इजरायली हमलों में कम से कम 41,788 लोग मारे गए हैं और 96,794 घायल हुए हैं।
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