कावेरी प्रबंधन बोर्ड की मांग पर प्रधानमंत्री मोदी मौन
जयललिता के 70वें जन्मदिन के मौके पर इस साल 70 लाख पेड़ लगाने की परियोजना लांच करने चेन्नई पहुंचे पीएम मोदी ने 15 मिनट का भाषण दिया। लेकिन उन्होंने कावेरी बोर्ड की सीएम की मांग का जिक्र तक नहीं किया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कावेरी प्रबंधन बोर्ड गठित करने की तमिलनाडु के मुख्यमंत्री के. प्लनीस्वामी की मांग का कोई भी जिक्र यहां शनिवार को चेन्नई में दिए अपने 15 मिनट के भाषण में नहीं किया। पलनीस्वामी कावेरी जल विवाद मामले में कावेरी प्रबंधन बोर्ड गठित करने की मांग कर रहे हैं।
कामकाजी महिलाओं के लिए 'अम्मा दोपहिया परियोजना' के लांच समारोह में पलनीस्वामी ने मोदी से सर्वोच्च न्यायालय के निर्देश के अनुसार कावेरी प्रबंधन बोर्ड और कावेरी जल नियामक समिति गठित करने के लिए जल्द कदम उठाने की मांग की थी।
मोदी इस परियोजना और दिवंगत मुख्यमंत्री जे. जयललिता के 70वें जन्मदिवस के अवसर पर इस वर्ष 70 लाख पेड़ लगाने की परियोजना लांच करने के अवसर पर यहां थे। अपने 15 मिनट के भाषण में उन्होंने हालांकि मुख्यमंत्री की मांग पर एक बार भी प्रतिक्रिया नहीं दी।
22 फरवरी को तमिलनाडु के राजनीतिक दलों के नेताओं और किसान एसोसिएशन के प्रतिनिधियों ने इस मामले में सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल को मोदी से तत्काल मुलाकात के लिए भेजने और उनसे कावेरी प्रबंधन बोर्ड और कावेरी जल नियामक समिति का तत्काल गठन करने की मांग करने का निर्णय लिया था।
सर्वोच्च न्यायालय ने 16 फरवरी के अपने फैसले में तमिलनाडु के लिए कावेरी नदी के पानी की हिस्सेदारी 192 टीएमसी से घटाकर 177.25 टीएमसी कर दिया था।
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