कर्नाटक में गरजीं सोनिया गांधी: पीएम मोदी पर कांग्रेस मुक्त भारत का भूत, लेकिन भाषण से पेट नहीं भरता
पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने कर्नाटक चुनाव में अपनी पहली चुनावी रैली में कहा कि मोदी जी बहुत अच्छा भाषण देते हैं, लेकिन सिर्फ भाषण से जनता का खाली पेट नहीं भरता है।
कर्नाटक विधानसभा चुनाव के रण में उतरते हुए यूपीए अध्यक्ष और पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंगलवार को पीएम मोदी को जमकर आड़े हाथों लिया। कर्नाटक के बीजापुर में एक विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि एक तरफ जहां कांग्रेस विकास के काम कर रही है, वहीं दूसरी तरफ मोदी जी का चार साल से एक ही काम है, कांग्रेस ने जो भी अच्छा काम किया, उसे खत्म करना। सोनिया गांधी ने कहा, “मोदी जी पर ‘कांग्रेस मुक्त भारत’ का जुनून सवार है, उन्हें ‘कांग्रेस मुक्त भारत’ का भूत लगा हुआ है। कांग्रेस मुक्त भारत तो छोड़िए, वे अपने सामने किसी को बर्दाश्त नहीं कर सकते।”
पीएम मोदी की भाषण शैली का जिक्र करते हुए यूपीए अध्यक्ष ने कहा कि “मोदी जी को इस बात का गर्व है, कि वे बहुत अच्छा भाषण देते हैं। मैं इस बात से बिल्कुल सहमत हूं कि वे एक बड़े अच्छे वक्ता हैं और एक अभिनेता की तरह भाषण देते हैं। लेकिन भाषणों से जनता का पेट नहीं भरता है। मैं तो चाहती हूं कि अगर उनके भाषण से देश का पेट भर सकता है, तो वे और ज्यादा भाषण दें।” उन्होंने आगे कहा कि केवल भाषण से तो पेट नहीं भर सकता। इसके लिए तो दाल-चावल ही चाहिए। मोदी जी के भाषण से बीमार तो ठीक नहीं हो सकते। उसके लिए अस्पताल और दवाइयां ही चाहिए। मोदी जी के भाषण से महिलाओं का सशक्तिकरण नहीं हो सकता। नौजवानों को रोजगार नहीं मिल सकता, किसानों को राहत नहीं मिल सकती। इन सबके लिए तो मजबूत इरादा चाहिए, दृढ़ संकल्प और नेक नीयत होनी चाहिए।
अपने भाषण में सोनिया गांधी ने राज्य की सिद्धारमैया सरकार के कार्यों को गिनाया और उसकी तारीफ की। उन्होंने कहा कि सिद्धारमैया जी और उनके सहयोगियों के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकार ने, समाज के सभी वर्गों की तरक्की के लिए जो कदम उठाए हैं, वे बेमिसाल हैं। कांग्रेस सरकार ने जहां एक तरफ कर्नाटक को देश का नंबर वन राज्य बनाया, वहीं दूसरी तरफ गरीबों, आम आदमी और किसानों की मदद के लिए अन्न-भाग्या, क्षीर-भाग्या, कृषि-यंत्र धारे जैसी अनगिनत योजनाएं शुरू कीं। उन्होंने कहा, आपने ज़रूर सुना होगा कि सिद्धारमैया जी की सरकार ने ‘इंदिरा कैंटीन’ भी शुरू की है, जिसमें लोगों को दस रुपए में भरपेट भोजन दिया जाता है। क्योंकि हमारा मानना है, कि गरीब से गरीब का भी ये हक बनता है कि उसे भी अच्छा और स्वादिष्ट भोजन मिले।
अक्सर अपने भाषणों में पीएम मोदी द्वारा तथ्यों को तोड़-मरोड़ कर पेश किए जाने पर भी सोनिया गांधी ने हमला किया। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी जहां भी जाते हैं, गलत ही बोलते हैं, इतिहास के साथ खिलवाड़ करते हैं और अपने राजनीतिक मकसद के लिए हमारे महान स्वतंत्रता सेनानियों का शतरंज के मोहरों की तरह इस्तेमाल करते हैं। उन्होंने जनसभा में मौजूद लोगों से पूछा, “क्या एक प्रधानमंत्री को ऐसी बातें करना शोभा देता है? क्या आपने पहले कभी ऐसा कोई प्रधानमंत्री देखा है, जो सिर्फ बातें ही बातें करता हो, मगर असली मुद्दों पर एक बार भी नहीं बोलता हो?”
रोजगार, महिला सुरक्षा, भ्रष्टाचार मिटाने जैसे पीएम मोदी के चुनावी वादों को लेकर भी सोनिया गांधी ने जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा, “जनता से चार साल पहले किए वादों में से, कौन सा वादा पूरा हुआ? मोदी जी ने देश के किसानों के लिए, युवाओं के रोजगार के लिए, मध्यम वर्ग के लिए, महिलाओं, बच्चियों, पिछड़ों, दलितों और अकलियतों की सुरक्षा के लिए क्या किया? चार साल के बाद भी लोकपाल क्यों नहीं लाया गया?” कर्नाटक चुनाव में भ्रष्टाचार के कई आरोपियों को बीजेपी का उम्मीदवार बनाने पर उन्होंने कहा कि “यहां कर्नाटक में जो लोग मंच पर आपके इर्द-गिर्द बैठे हैं, जिन मंत्रियों के खि़लाफ भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप हैं, क्या उनका मॉडल अपनाएंगे आप, या क्या अपने सबसे करीबी साथी के बेटे का मॉडल अपनाएंगे?”
इससे पहले बीजापुर पहुंचने पर सोनिया गांधी ने कहा कि आज इस ऐतिहासिक और पवित्र भूमि पर आप सबके बीच आकर मुझे खुशी ही नहीं बल्कि गर्व महसूस हो रहा है। बीजापुर महात्माओं और महापुरुषों की धरती है, ये बसवान्ना की धरती है, जिन्होंने पूरे कर्नाटक और भारत को समानता, बराबरी, भाई-चारे का संदेश दिया। उन्होंने कहा कि बीजापुर संस्कृतियों का संगम भी है। इस संगम से ही हिंदुस्तानी ख्याल-गायकी निकलती है, जो बंदिशें नहीं मानती, बल्कि सभी संगीत-धाराओं से दोस्ती करती है और सिखाती है। एक दूसरे से सीखना और मिल-जुलकर रहना, यही कर्नाटक और भारत की पहचान है।
अपने भाषण में सोनिया गांधी ने कहा, “बीजापुर और कर्नाटक की तरक्की के लिए, कांग्रेस ने जो काम किए हैं, वे सब आपके सामने हैं। और यह भी आपके सामने है कि केंद्र की मोदी-सरकार कर्नाटक के साथ कैसा भेद-भाव कर रही है।” अपने भाषण में उन्होंने किसानों को राहत देने के मामले में मोदी सरकार के रवैये पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा, “कर्नाटक में पिछले चार साल से सूखा पड़ रहा है और जितना भयानक सूखा पिछले साल हुआ, ऐसा दशकों से नहीं पड़ा था। ऐसे में आपकी तकलीफों को देखते हुए आपको मदद दिलाने के लिए राज्य के सीएम सिद्धारमैया ने मोदी जी से मिलने का समय मांगा, मगर आपको मदद देना तो दूर की बात रही, मोदी जी ने मुख्यमंत्री से मिलने से भी इनकार कर दिया। मैं बोलना चाहती हूं, कि मोदी जी, आपने न केवल मुख्यमंत्री का, बल्कि पूरे कर्नाटक के हमारे किसानों और उनके परिवारों का अपमान किया है। मोदी जी क्या यही है आपका ‘सबका साथ-सबका विकास’?”
अंत में यूपीए अध्यक्ष ने कहा कि बीजापुर और कर्नाटक बसवा की सोच का केंद्र है। बसवा-तत्व, अमन-चैन, भाईचारा और समानता सिखाते हैं, लोगों को जोड़ते हैं, एक साथ लाते हैं और यही कांग्रेस पार्टी की संस्कृति है। इसके विपरीत मोदी जी चुनाव में आते हैं, नये-नये खोखले वायदे करते हैं और नफरत फैलाकर चले जाते हैं। लेकिन मैं जानती हूं, कि आप इनकी और बीजेपी की इस राजनीति को सफल नहीं होने देंगे। इस बार उनके और बीजेपी के एक-एक जुमले का पर्दाफाश करके, 12 मई को अपने राज्य की खुशहाली के लिए कांग्रेस को एक बार फिर भारी बहुमत से जिताएंगे।
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