अखलाक की हत्या करने वाले आरोपियों को मिली सरकारी कंपनी में नौकरी
हाल ही में नेशनल थर्मल पॉवर कॉर्पोरेशन लिमिटेड ने ऐसे 15 लोगों को नौकरी दी है, जिन पर दादरी के बिसहड़ा गांव के मोहम्मद अखलाक की हत्या का आरोप है।
केंद्र और राज्य में जब बीजेपी की सरकार हो तो सरकारी कंपनियां हत्या जैसे मामलों के आरोपियों को भी नौकरी पर रखने में नहीं हिचकिचातीं। हाल ही में नेशनल थर्मल पॉवर कॉर्पोरेशन लिमिटेड ने ऐसे 15 लोगों को नौकरी दी है, जिन पर दादरी के बिसहड़ा गांव के मोहम्मद अखलाक की हत्या का आरोप है। इन नौकरियों को दिलवाने में बीजेपी के विधायक तेजपाल नागर ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
अखबारों में छपी खबरों के मुताबिक उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा स्थित एनटीपीसी लिमिटेड ने हाल ही में बिसहड़ा गांव के 15 युवाओं को कांट्रेक्ट पर नौकरी पर रखा है। इस महारत्न कंपनी ने ये नौकरियां देने की जो दलील दी है उसके मुताबिक प्रोजेक्ट से प्रभावित इलाकों के लोगों को नौकरी देना कोई नई बात नहीं है।
याद दिला दें कि 28 सितंबर 2015 को एक हिंसक भीड़ ने गोमांस के शक में मोहम्मद अखलाक के घर पर हमला कर दिया था और उन्हें और उनके बेटे की पिटाई की थी। भीड़ ने अखलाक को घर के बाहर खींच लिया था और पीट-पीटकर उनकी हत्या कर दी थी। हमले में अखलाक का बेटा दानिश गंभीर रुप से घायल हुआ था। इस मामले में बहुत सारे लोगों पर मामला दर्ज हुआ था और कई को गिरफ्तार किया गया था, जिनमें से 18 लोग अब तक जमानत पर रिहा हो चुके हैं। रोचक है कि इन सभी को जेल से बाहर निकलाने का वादा स्थानीय बीजेपी विधायक ने किया था।
हाल ही में 9 अक्टूबर को स्थानीय बीजेपी विधायक तेजपाल नागर ने इन युवकों के साथ एनटीपीसी अधिकारियों से मुलाकात की और उन्हें ठेके पर नौकरी पर लगवा दिया। एनटीपीसी अधिकारियों का कहना है कि, “हां, हमने बिसहड़ा गांव के युवाओं को नौकरी पर रखा है। लेकिन इसका अखलाक की हत्या से कोई लेना-देना नहीं है। कांट्रेक्चुअल नौकरियां बिसहड़ा गांव के कई लोगों को दी गई हैं और यह सब उनकी योग्यता और शिक्षा के आधार पर तय किया गया है।”
इस मामले पर बीजेपी विधायक नागर का कहना है कि यह सभी युवा निर्दोष हैं और उन्हें नौकरी मिलना चाहिए।
ध्यानरहे कि अखलाक की हत्या के बाद मुजफ्फरनगर दंगों के आरोपी और बीजेपी विधायक संगीत सोम ने 4 अक्टूबर, 2015 को बिसहड़ा गांव का दौरा किया था और सभी आरोपियों को जमानत दिलाने का वादा किया था। इसी साल 31 जुलाई को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इस मामले के एक अन्य आरोपी और स्थानीय बीजेपी नेता संजय राना के पुत्र विशाल राना को भी जमानत दे दी।
इतना ही नहीं, अखलाक की हत्या के एक आरोपी की मृत्यु होने पर उसके शरीर को तिरंगे में लपेटा गया था जिसे लेकर काफी हंगामा हुआ था। स्थानीय बीजेपी सांसद और केंद्रीय मंत्री महेश शर्मा ने इस हत्यारोपी को श्रद्धांजलि दी थी।
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