बिहार चुनावः पटना के इस बीजेपी प्रत्याशी पर चोरी-डकैती का केस, हाल में कोरोना की रिपोर्ट आई है पॉजिटिव
सबसे खास बात ये है कि कुम्हरार से बीजेपी विधायक अरुण कुमार सिन्हा की कोरोना रिपोर्ट हाल ही में पॉजीटिव आई थी। बीते महीने 27 अक्टूबर को उनका कोरोना सैंपल लिया गया था, जिसके एक दिन बाद उनकी कोरोना रिपोर्ट पॉजीटिव आई है। इसके बाद भी उनका प्रचार जारी रहा।
बिहार विधानसभा चुनाव का पहला चरण पूरा हो चुका है और दूसरे चरण की सीटों के लिए कल मतदान होना है। इसी चरण में राजधानी पटना की सभी सीटों पर भी वोट डाले जाएंगे। वैसे तो इस चरण में भी कई ऐसे प्रत्याशी हैं, जिन पर आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं। लेकिन इसमें सबसे चौंकाने वाला नाम पटना की कुम्हरार सीट से बीजेपी प्रत्याशी और मौजूदा विधायक अरुण कुमार सिन्हा का है, जिन पर बीजेपी ने एक बार फिर भरोसा जताया है।
चौंकाने वाला इसलिए कि बीजेपी के कुम्हरार सीट से प्रत्याशी अरुण कुमार सिन्हा पर चोरी और डकैती का भी केस दर्ज है। myneta.info के अनुसार बीजेपी नेता अरुण सिन्हा पर पटना के राजेंद्रनगर थाने में चोरी का एक केस दर्ज था, जिसमें उनके खिलाफ कोई चार्ज फ्रेम नहीं हुआ। इतना ही नहीं, उन पर डकैती की धारा में भी एक केस दर्ज है और उसमें भी कोई चार्ज फ्रेम नहीं हुआ।
इसके अलावा 2019 में अरुण सिन्हा ने नागरिक संशोधन बिल के समर्थन में पटना के प्रतिबंधित क्षेत्र में पदयात्रा निकाली थी, जिसके लिए उनपर कातोवाली थाने में केस दर्ज हुआ था, जिसमें भी कोई एक्शन नही हुआ। सबसे खास बात ये है कि कुम्हरार से बीजेपी विधायक अरुण कुमार सिन्हा की कोरोना रिपोर्ट हाल ही में पॉजीटिव आई है। बीते महीने 27 अक्टूबर को उनका कोरोना सैंपल लिया गया था, जिसके एक दिन बाद उनकी कोरोना रिपोर्ट पॉजीटिव आई है। इसके बाद भी उनका प्रचार जारी रहा।
बता दें कि अरुण कुमार सिन्हा ने 1980 में राजनीति में कदम रखा था। पहली बार मार्च 2005 वह पटना से विधायक बने। वह लगातार तीन बार, 2005, 2010 और 2015 में इसी सीट से जीतने में कामयाब रहे। उन्होंने बिहार विधानसभा में सत्तारूढ़ दल के उप मुख्य सचेतक और विधानसभा में मुख्य विपक्षी दल के मुख्य सचेतक के तौर पर भी काम किया है।
गौरतलब है कि मंगलवार 3 नवंबर को होने वाले दूसरे चरण के चुनाव में कुम्हरार विधानसभा सीट पर भी वोट डाले जाएंगे। इस बार यहां अरुण सिन्हा को कड़ी टक्कर मिलने के कयास लग रहे हैं। हालांकि अरुण सिन्हा क्षेत्र के कद्दावर नेता हैं और 2015 में आरजेडी और जेडीयू साथ लड़ने पर भी उन्होंने यह सीट काफी बड़े अंतर से जीती थी। इस बार तो एक बार फिर से नीतीश की पार्टी बीजेपी के साथ ही है, इसलिए अरुण सिन्हा अपनी जीत का दावा अभी से कर रहे हैं।
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