वित्तीय संकट से जूझ रही है सरकारी दूरसंचार कंपनी बीएसएनएल, कर्मचारियों को नहीं मिली फरवरी की सैलरी!
भारतीय संचार निगम लिमिटेड (बीएसएनएल) अभी तक अपने कर्माचारियों को फरवरी की सैलरी नहीं दे पाई है। बीएसएनएल में करीब 1.76 लाख कर्मचारी काम करते हैं, लेकिन आधे मार्च निकल जाने के बाद भी सभी सैलरी के इंतजार में हैं।
सरकारी दूरसंचार कंपनी बीएसएनएल (भारत संचार निगम लिमिटेड) फिलहाल बड़ी वित्तीय संकट से जूझ रही है। आलम यह है कि कंपनी अभी तक अपने कर्माचारियों को फरवरी की सैलरी नहीं दे पाई है। बीएसएनएल में करीब 1.76 लाख कर्मचारी काम करते हैं, लेकिन आधे मार्च निकल जाने के बाद भी सभी सैलरी के इंतजार में हैं। इंतजार लंबा होता देख कर्मचारी संघ ने दूरसंचार मंत्री मनोज सिन्हा को पत्र लिखकर जल्द समाधान करने के लिए कहा है।
अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया के खबर के मुताबिक मार्च महीने का वेतन भी देर से आने की उम्मीद है। बता दें कि बीएसएनएल अपने आय का करीब 55 फीसदी खर्च कर्मचारियों के वेतन पर करता है और कंपनी का वेतन का बिल हर साल 8 फीसदी की दर से बढ़ रहा है। लेकिन कंपनी की आदमनी स्थिर है।
खबर है कि बीएसएनएल बैंक से लोन लेकर कर्मचारियों को वेतन देने की कोशिश में है। इसके लिए बोर्ड ने लोन लेने के प्रस्ताव को मंजूरी भी दे दी है। बीएसएनएल का घाटा भी हर साल बढ़ता जा रहा है। बित्त वर्ष 17-18 में कंपनी को 8 हजार करोड़ रुपए का घाटा हुआ था। जबकि साल 2016-17 में यह घाटा करीब आधा था।
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