गुरुग्राम में अमेरिका, कनाडा के लोगों को ठगने वाले फर्जी कॉल सेंटर का भंडाफोड़, 17 लोग गिरफ्तार, कई उपकरण जब्त
पुलिस ने बताया कि पूछताछ में पता चला है कि कॉल सेंटर के कर्मचारी माइक्रोसॉफ्ट तकनीकी सहायता के अधिकारियों के रूप में अमेरिका और कनाडा के नागरिकों को कॉल करते थे और उनसे सेवा शुल्क के रूप में 500 से 1,000 डॉलर वसूल करते थे।
दिल्ली से सटे हरियाणा के गुरुग्राम में अमेरिका और कनाडा के नागरिकों को ठगने वाले एक फर्जी कॉल सेंटर का भंडाफोड़ हुआ है। इस सिलसिले में बुधवार और गुरुवार की दरमियानी रात को गुरुग्राम के उद्योग विहार से 17 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इस दौरान भारी मात्रा में नकद और कॉल सेंटर के उपकरण जब्त किए गए हैं।
गुप्त सूचना पर फ्लाइंग स्क्वायड, उद्योग विहार थाना और साइबर क्राइम पुलिस की टीम ने सीएम फ्लाइंग विंग के डीएसपी इंद्रजीत सिंह यादव और एसीपी (उद्योग विहार) राजीव कुमार के नेतृत्व में कॉल सेंटर पर छापा मारा और 22.50 लाख रुपये नकद, 6 लैपटॉप, 3 डेस्कटॉप, 18 मोबाइल फोन और 64 जीबी पेन ड्राइव बरामद किये।
पुलिस ने कहा कि कॉल सेंटर के कर्मचारी माइक्रोसॉफ्ट तकनीकी सहायता के अधिकारियों के रूप में अमेरिका और कनाडा के नागरिकों को कॉल करते थे और उनसे सेवा शुल्क के रूप में 500 से 1,000 डॉलर लेते थे। डीएसपी इंद्रजीत सिंह यादव ने कहा, "कॉल सेंटर बिना अनुमति के चलाया जा रहा था। इसके अलावा, उनके पास दूरसंचार विभाग (डीओटी) द्वारा जारी कोई लाइसेंस नहीं था।"
पूछताछ के दौरान, आरोपियों ने कबूल किया कि वे अमेरिका और कनाडा के नागरिकों के साथ तकनीकी सहायता प्रदान करने, पॉप-अप भेजने और सेवा शुल्क के रूप में प्रति ग्राहक लगभग 500 से 1,000 डॉलर की मांग करते थे। पूछताछ में सामने आया कि अब तक बड़ी संख्या में विदेशी नागरिकों को ठगा जा चुका है।
डीएसपी ने बताया कि फर्जी कॉल सेंटर के कर्मचारियों ने खुलासा किया कि वेतन के अलावा, उन्हें एक कमीशन भी मिल रहा था। फर्जी कॉल सेंटर का मुख्य आरोपी फरार है। आगे की जांच के लिए उद्योग विहार पुलिस स्टेशन में आईटी अधिनियम सहित भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की संबंधित धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है।
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