कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, "उत्तर भारत में वायु प्रदूषण एक राष्ट्रीय आपातकाल है- एक सार्वजनिक स्वास्थ्य संकट जो हमारे बच्चों का भविष्य छीन रहा है और बुजुर्गों का दम घोंट रहा है, और एक पर्यावरणीय और आर्थिक आपदा जो अनगिनत लोगों की ज़िंदगी बर्बाद कर रही है।"
राहुल गांधी ने कहा, "हमारे बीच सबसे गरीब लोग सबसे ज़्यादा पीड़ित हैं, जो अपने आस-पास की जहरीली हवा से बच नहीं पाते। परिवार स्वच्छ हवा के लिए तरस रहे हैं, बच्चे बीमार पड़ रहे हैं और लाखों लोगों की ज़िंदगी खत्म हो रही है। पर्यटन घट रहा है और हमारी वैश्विक प्रतिष्ठा गिर रही है।
उन्होंने कहा, "प्रदूषण का बादल सैकड़ों किलोमीटर तक फैला हुआ है। इसे साफ करने के लिए सरकारों, कंपनियों, विशेषज्ञों और नागरिकों की ओर से बड़े बदलाव और निर्णायक कार्रवाई की ज़रूरत होगी। हमें सामूहिक राष्ट्रीय प्रतिक्रिया की ज़रूरत है, न कि राजनीतिक दोषारोपण की।"
नेता प्रतिपक्ष ने कहा, "कुछ दिनों में संसद की बैठक होने वाली है, तो सांसदों को हमारी आंखों और गले में खराश से संकट की याद आ जाएगी। यह हमारी ज़िम्मेदारी है कि हम एक साथ आएं और चर्चा करें कि भारत इस संकट को हमेशा के लिए कैसे खत्म कर सकता है।"
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