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नवजीवन बुलेटिन: हाथरस कांड को चीफ जस्टिस ने बताया 'शॉकिंग' और अलवर गैंगरेप के 4 दोषियों को उम्रकैद की सजा

हाथरस गैंगरेप केस में अलग-अलग याचिकाओं पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। SC ने यूपी सरकार से तीन मुद्दों पर अगले हफ्ते हलफनामा दाखिल करने को कहा है। सुनवाई के दौरान CJI ने इस केस को शॉकिंग बताया और राजस्थान के अलवर में हुए सामूहिक दुष्कर्म मामले में कोर्ट ने 4 दोषियों को उम्र कैद की सजा सुनाई है।

फोटो: सोशल मीडिया
फोटो: सोशल मीडिया 

हाथरस गैंगरेप केस में अलग-अलग याचिकाओं पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से तीन मुद्दों- गवाहों और परिवारकी सुरक्षा, पीड़ित परिवार केपास वकील है कि नहीं और इलाहाबाद हाईकोर्ट का स्टेट्स क्या है इस पर हलफनामा दाखिल करने को कहा है मामले की अगली सुनवाई 12 अक्टूबर को होगी सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) एसए बोबड़े ने इस केस शॉकिंग केस बताया सुनवाई के दौरान याचिककर्ता के वकील की ओर से कोर्ट की निगरानी में जांच की बात कही गई इस पर सीजेआई ने पूछा कि आप इलाहाबाद हाईकोर्ट क्यों नहीं गए सुनवाई की शुरुआत यूपी सरकार की ओर से दलील रख रहे सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने की उन्होंने कहा कि हम इस याचिका का विरोध नहीं कर रहे, लेकिन समाज में जिस तरह से भ्रम फैलाया जा रहा है, हम उसके बारे में सच सामने लाना चाहते हैं पुलिस और एसआईटी जांच चल रही है इसके बावजूद हमने सीबीआई जांच की सिफारिश की है।

राजस्थान में अलवर जिले के थानागाजी इलाके में करीब सवा साल पहले पति को बंधक बनाकर पत्नी के साथ सामूहिक दुष्कर्म के मामले में एससी-एसटी कोर्ट ने अपना फैसला सुना दिया है। कोर्ट ने सभी आरोपियों को दोषी करार दिया है। मंगलवार को जज बृजेश कुमार ने सजा के बिंदू पर बहस पूरी होने के बाद 4 दोषियों को उम्र कैद की सजा सुनाई है। वहीं एक दोषी को 5 साल जेल की सजा सुनाई गई है। कोर्ट ने सभी दोषियों पर एक-एक लाख का आर्थिक दंड भी लगाया है। फैसला सुनाते हुए जज बृजेश कुमार ने कहा कि यह घटना कृष्णकाल में द्रोपदी के चीर हरण के समान है। दंड ऐसा होना चाहिए, जिससे दुष्कर्म की घटनाओं की अमर बेल को काटा जा सके।

बॉलीवुड अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की बहनों द्वारा बॉम्बे हाईकोर्ट में रिया चक्रवर्ती की ओर से दर्ज कराई गई एफआईआर के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई हुई। इस याचिका में एनडीपीएस एक्ट में धाराओं के तहत दर्ज एफआईआर को रद्द करने की मांग की गई है। रिया के वकील सतीश मानशिंदे द्वारा याचिका पर जवाब दाखिल करने के लिए समय मांगने के बाद यह मामला 13 अक्तूबर तक के लिए स्थगित कर दिया गया है। बता दें कि अपनी गिरफ्तारी से पहले रिया चक्रवर्ती ने सुशांत की बहन प्रियंका, मीतू सिंह और राम मनोहर लोहिया अस्पताल के डॉक्टर तरुण कुमार के खिलाफ केस दर्ज कराया था।

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