विचार

विष्णु नागर का व्यंग्य: चंद्रमा को घोषित किया जाए हिंदू राष्ट्र और शिवशक्ति प्वाइंट को उसकी राजधानी!

यह उत्तम सुझाव एक कोई स्वामी चक्रपाणि जी का है। उन्होंने प्रधानमंत्री से निवेदन किया है कि चंद्रमा को हिंदू राष्ट्र घोषित किया जाए और शिवशक्ति प्वाइंट को उसकी राजधानी। पढ़ें विष्णु नागर का व्यंग्य।

फोटो: सोशल मीडिया
फोटो: सोशल मीडिया 

हिंदू राष्ट्र के निर्माण के लिए विकल जनता के लिए एक अति उत्तम सुझाव आया है। मेरी दिली इच्छा है कि यह जल्दी से जल्दी कार्यान्वित हो। बीजेपी उक्त सुझाव को मान कर चंद्रमा पर अविलंब हिंदू राष्ट्र बनाए। भारत  पर उसकी यह इतनी बड़ी कृपा होगी कि उसके ऋण से हम देशवासी सदियों तक उऋण नहीं हो पाएंगे। ऐसा उत्तम सुझाव सदियों में एक बार आता है और जो जमीन पर उसे उतारता है, वह महापुरुष कहलाता है।

यह उत्तम सुझाव एक कोई स्वामी चक्रपाणि जी का है। उन्होंने प्रधानमंत्री से निवेदन किया है कि चंद्रमा को हिंदू राष्ट्र घोषित किया जाए और शिवशक्ति प्वाइंट को उसकी राजधानी। देर की तो वहां जेहादी यानी मुसलमान पहुंच जाएंगे और सब गड़बड़ कर देंगे।

Published: undefined

स्वामी जी, अवश्य बनवाइए और मंदिर वहीं बनाएंगे की तरह हिन्दू राष्ट्र वहीं बनाइए। और शिवशक्ति प्वाइंट को ही राजधानी बनवाइए। यहां तो यह ख्वाब सफ़ल होता दिखता नहीं, वहीं ठीक रहेगा। सबसे पहले स्वामी जी को वहां भिजवाना होगा। और बिलकुल उस तरह जैसे कांच की चीजों को संभाल कर ट्रक में भिजवाते हैं- ग्लास विद केयर, ताकि कोई  पेट -फूट न हो। वे वहां पहुंच कर चंद्रमा की सभी भौतिक समस्याएं भूल कर भूमि को समतल बनाने के लिए श्रमदान करेंगे और करवाएंगे, धन-दान करेंगे- करवाएंगे। बुलडोजर चलाएंगे-चलवाएंगे, नींव खोदेंगे-खुदवाएंगे, ईंटें, रेत सीमेंट मिलवाएंगे, खून-पसीना बहाएंगे। पीएम हिन्दू राष्ट्र संस्थापना योजना के अधीन कार्य करते हुए विश्व में नाम कमाएंगे। संस्थापक सदस्य होने के गौरव से स्वयं को मंडित करेंगे।

Published: undefined

सब हो जाए, राजधानी बन जाए, आक्सीजन,पानी वगैरह सब इंतजाम हो जाए,फिर जिसको यहां से ये चाहें, ले जाएं, जिसको चाहें प्रधानमंत्री बनाएं। वे चाहें तो स्वयं बन जाएं या यहां के टू टर्म के अनुभवी प्रधानमंत्री को उनके मंत्रिमंडल समेत ले जाएं। बीजेपी के सभी वर्तमान, भूतपूर्व और भावी मुख्यमंत्रियों को ले जाएं। उनके सभी वर्तमान, भूतपूर्व और भावी मंत्रियों, विधायकों, सांसदों को ले जाएं। उनके सभी राज्यपालों, उपराज्यपालों को  ले जाएं। दिल्लीवाले को तो पहली खेप में ले जाएं। आडवाणी जी जाएंगे नहीं मगर जोशी जी को ले जाओगे तो शायद वे भी चले जाएं। संघ प्रमुख सहित, सभी शाखाओं के सभी प्रमुखों, स्वयंसेवकों को उनकी काली टोपियों और बेकार पड़ी खाकी चड्डियों सहित ले जाएं और अगले अनेक दशकों के लिए यहां से उनकी ड्रेस ले जाएं। एक-एक संघी को बीनकर, छानकर, बटोरकर, निथारकर ले जाएं। किसी को यहां नहीं छोड़ें। इस तरह उनका और अपना चिर सिंचित स्वप्न पूरा करें। विकास के लिए अडानी और अंबानी को ले जाएं। जो नहीं जाए, उसकी दोनों टांगें और दोनों हाथ पकड़कर खींच कर ले जाएं। जिन्हें हिंदुस्तान के मुसलमानों की 'बढ़ती संख्या' से खतरा है, जिन्हें 'गौहत्या' की चिंता खाए जा रही है, उन्हें सुखी करने के लिए वहां अवश्य ले जाएं। उन्हें चिंतामुक्त करें। ब्लडप्रेशर मुक्त करें। दिल की बीमारी के खतरे को दूर भगाएं।

Published: undefined

और चाहें तो अयोध्या का अपना नवनिर्मित राममंदिर भी उठाकर साथ ले जाएं। वहीं उसका उद्घाटन उनसे ही करवाएं,जो करने को आतुर हैं। कपड़ों की फिटिंग, रंग वगैरह का चुनाव कर उस शुभ दिन के इंतजार में यहां योगमुद्रा में बैठे हैं। एक-एक दिन, एक-एक सांस के साथ गिन रहे  हैं। जिन सबने मिलकर सहर्ष बाबरी मस्जिद गिराई थी, उस जगह मंदिर लगभग बनवा लिया है, तो वहां जाकर दुबारा परिश्रम क्यों करना? योगी जी तो खैर जाए बगैर मानेंगे नहीं, उनके सभी बुलडोजर, उनकी बुलडोजर बाबा की इमेज भी वहां ले जाना न भूलें!

वहां तुम जिसे जो बदनाम करना हो, मजे से करो। गला फाड़- फाड़ चिल्लाओ कि नेहरू जी ये थे और वो थे। उन्हें मुसलमान, ईसाई, पारसी, सिख, यहूदी सब बना दो। उनसे भारत के प्रथम प्रधानमंत्री होने का गौरव छीनकर 2014 वाले को दे दो। गांधी जी को मुस्लिमपरस्त बना दो। नाथूराम को तैंतीस करोड़ देवताओं में जगह दे दो। बाबासाहेब अंबेडकर के संविधान की जगह मनुस्मृति को लागू कर दो। तुम्हारा चांद, तुम्हारा हिंदू राष्ट्र। तुम्हारा हमसे और हमारा तुमसे पीछा छूटे, इसके लिए वहां जो करना हो, करो। वहां जाकर चाहे अमर हो जाओ। अमृत पान कर लो। 

Published: undefined

बंटवारे के समय भारत ने 55 करोड़ पाकिस्तान को दिए थे, तुमको 300 करोड़ देने पर भारत की जनता राजी हो जाएगी। वैसे 500 करोड़ भी अधिक नहीं हैं। उससे अधिक तो हर साल मिशन हिंदू राष्ट्र की कामयाबी के लिए दंगे करवाने पर खर्च हो जाते हैं।

और अगर चांद को हिन्दू राष्ट्र बनाना है तो मुसलमान भी साथ ले जाने होंगे और वे जाएंगे नहीं। स्वामी जी भी नहीं चाहते कि वे वहां आएं। उन्हें समझाना पड़ेगा कि महाराज जी, मुसलमान वहां नहीं  होंगे तो हिंदू राष्ट्र बनाने का सारा मजा किरकिरा हो जाएगा। फिर तो बनाया, नहीं बनाया,  बराबर है। हिंदू राष्ट्र बनाने की सच्ची खुशी कैसे मिलेगी? मगर मुसलमान किसी कीमत पर नहीं जाएंगे। वो कहेंगे कि जब इनका प्लान यहां हिन्दू राष्ट्र बनाने का था, तब हम कहीं नहीं गए थे तो हिन्दू राष्ट्र में चांद पर बना रहे हैं तो वहां क्यों जाएं? तो असली कठिनाई यह है। बुनियाद में ही मट्ठा पड़ जाएगा। इस मुश्किल का कोई तोड़ नहीं है मगर अभी इस बारे में मत सोचो। रोड़ी, सीमेंट, रेत का इंतजाम करो। मजदूरों, कारीगरों ,पानी आदि आयात करो।

Published: undefined

बस एक सावधानी बरतना, अमेरिका, रूस, चीन से परमिशन लेकर ये सत्य सनातन हिन्दू राष्ट्र वहां बनाना। उनके आगे तुम्हारे दादा की दादागीरी नहीं चलेगी। ये देश, जगद्गुरु के भी जगद्गुरु हैं। इनसे सावधान रहना‌। वहां दंगे करवाने से काम नहीं चलेगा। बुलडोजर काम नहीं आएगा। फिर भी चूंकि तुम वीर शिवाजी और महाराणा प्रताप की वीर संतान हो। तीर कमान और लाठियों से लैस हो तो इनसे ऐसा मुकाबला करना कि इन्हें छठी का दूध याद आ जाए! सारा चंद्रमा तुम्हारे लिए छोड़कर भाग जाएं।

Published: undefined

Google न्यूज़नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें

प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia

Published: undefined