विचार

भारत डोगरा का लेख: स्वास्थ्य पर बजट का 4% खर्च करने वाले भारत के सामने हैं कई चुनौतियां, तय करनी होंगी प्राथमिकताएं

बजट का 15 प्रतिशत स्वास्थ्य पर खर्च करने को सही माना गया है। भारत में सिर्फ 4 प्रतिशत ही स्वास्थ्य पर खर्च होता है। रिपोर्ट के अनुसार, यह स्थिति इस कारण और चिंताजनक है कि जनसंख्या के लगभग 55 प्रतिशत हिस्से की सबसे जरूरी स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध नहीं है।

फोटो: सोशल मीडिया
फोटो: सोशल मीडिया 

कोविड के दौर में प्रायः अधिकांश विकासशील देशों में यह माना जा रहा है कि स्वास्थ्य के बजट को बढ़ाना बहुत जरूरी है पर इस वृद्धि को किन प्राथमिकताओं के आधार पर खर्च किया जाए इसके बारे में अभी अनेक विवाद हैं। भारत में तो स्वास्थ्य बजट को बढ़ाने की ओर भी जरूरत कोविड के दौर के आरंभ होने से पहले ही रेखांकित की गई है, क्योंकि भारत में स्वास्थ्य का बजट बहुत कम रहा है।

आक्सफैम द्वारा कुछ समय पहले जारी किए गए विषमता कम करने की सूचकांक रिपोर्ट में बताया गया है कि स्वास्थ्य के बजट की दृष्टि से जिन 158 देशों का आकलन किया गया, उनमें भारत का स्थान सबसे नीचे के पांच देशों में है। नीचे से चैथा स्थान भारत को प्राप्त है। बजट का 15 प्रतिशत स्वास्थ्य पर खर्च करने को इस रिपोर्ट में उचित माना गया है, जबकि भारत में मात्र 4 प्रतिशत ही स्वास्थ्य पर खर्च होता है। रिपोर्ट के अनुसार, यह स्थिति इस कारण और चिंताजनक है कि जनसंख्या के लगभग 55 प्रतिशत हिस्से की सबसे जरूरी स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध नहीं है और स्वास्थ्य पर होने वाले खर्च का 77 प्रतिशत हिस्सा परिवार के अपने बजट में से खर्च होता है।

Published: undefined

भारत में गांवों और कस्बों के अधिकांश मरीजों के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र इलाज का नजदीकी स्थान है, पर यहां के लिए जिन विशेषज्ञ डाक्टरों का प्रावधान है, उनमें से लगभग 80 प्रतिशत स्थान रिक्त है। इन स्थितियों को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य बजट को बढ़ाने की जरूरत बहुत समय से महसूस की जा रही थी। कोविड दौर में इसका बढ़ना तय है पर सवाल यह है क्या जो बहुत सी जरूरी मांगें स्वास्थ्य क्षेत्र की अनेक वर्षों से रही हैं। उन्हें इस समय भी पूरा किया जा सकेगा।

कुछ समय पहले एक प्रमुख वैक्सीन निर्माता कंपनी के मुख्य अधिकारी ने ट्वीट कर कहा था कि भारतीय सरकार को कोविड वैक्सीन के लिए 80000 करोड़ रुपए तैयार रखने चाहिए। यह ट्वीट मीडिया में बहुत चर्चित रहा था, क्योंकि यह राशि केन्द्रीय सरकार के कुल वार्षिक खर्च (स्वास्थ्य- परिवार कल्याण मंत्रालय व आयुश मंत्रालय के संयुक्त सालाना बजट) से भी कहीं अधिक है। इन दोनों मंत्रालयों ने 2019-20 में कुल 67000 करोड़ रुपए के आसपास खर्च किया था (संशोधित अनुमान)।

Published: undefined

इस ट्वीट पर एक प्रमुख स्वास्थ्य अधिकारी ने कहा कि इतने खर्च की जरूरत नहीं होगी। बाद में एक प्रमुख समाचार पत्र ने कुछ उच्च सरकारी अधिकारियों का नाम लिए बिना उनके द्वारा दिया गया अनुमान प्रकाशित किया कि कोविड वैक्सीन के लिए लगभग 50,000 करोड़ रुपए तक सरकार को खर्च करने पड़ सकते हैं। एक अन्य प्रतिष्ठित समाचार पत्र ने 50,000 करोड़ रुपए के अनुमान को दोहराते हुए कहा कि यह केवल इस वित्तीय वर्ष का आंकड़ा है। इस तरह पूरे एक वर्ष का आंकड़ा इससे अधिक होने की संभावना है।

हालांकि कोविड वैक्सीन के बारे में अभी कई तरह के अनिश्चय की स्थिति है, पर ऐसे सभी संकेत हैं कि स्वास्थ्य की बजट वृद्धि का अधिकांश हिस्सा कोविड वैक्सीन पर खर्च होगा। दूसरी ओर अन्य बहुत सी जरूरी प्राथमिकताओं के लिए बजट की कमी पहले जैसे बनी रह सकती है या हो सकता है कि यह कमी और भी बढ़ जाए।

Published: undefined

इस स्थिति में यह बहुत जरूरी है कि स्वास्थ्य बजट के बारे में जो भी निर्णय लिए जाए उनमें पारदर्शिता बरती जाए और इसके लिए देश के स्वास्थ्य विशेषज्ञों की राय ली जाए। विशेषकर उन स्वास्थ्य विशेषज्ञों की जो बड़े स्वार्थों के असर से मुक्त हैं और देश की वास्तविक स्वास्थ्य प्राथमिकताओं को भली-भांति समझते हैं। इस समय हम एक ऐसे दौर में हैं, जिसमें शक्तिशाली तत्त्वों और अरबपतियों की दखलंदाजी विकासशील देशों के स्वास्थ्य क्षेत्र में बहुत बढ़ गई है और वे, बहुराष्ट्रीय कपंनियां और कुछ अरबपति स्वास्थ्य क्षेत्र में होने वाले खर्च को अपने हितों के अनुकूल प्रभावित करने का बहुत प्रयास कर रहे हैं। जहां एक ओर एक-एक पैसा ध्यान से राष्ट्रीय हितों और प्राथमिकताओं के अनुकूल खर्च करने की जरूरत है, वहां अपन-अपने स्वार्थ को तेजी से बढ़ाने वाले तत्त्व सक्रिय हैं। अतः सही प्राथमिकताओं के अनुकूल खर्च करने हेतु पर्याप्त सावधानी बरतने की इस समय बहुत जरूरत है।

Published: undefined

Google न्यूज़नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें

प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia

Published: undefined

  • छत्तीसगढ़: मेहनत हमने की और पीठ ये थपथपा रहे हैं, पूर्व सीएम भूपेश बघेल का सरकार पर निशाना

  • ,
  • महाकुम्भ में टेंट में हीटर, ब्लोवर और इमर्सन रॉड के उपयोग पर लगा पूर्ण प्रतिबंध, सुरक्षित बनाने के लिए फैसला

  • ,
  • बड़ी खबर LIVE: राहुल गांधी ने मोदी-अडानी संबंध पर फिर हमला किया, कहा- यह भ्रष्टाचार का बेहद खतरनाक खेल

  • ,
  • विधानसभा चुनाव के नतीजों से पहले कांग्रेस ने महाराष्ट्र और झारखंड में नियुक्त किए पर्यवेक्षक, किसको मिली जिम्मेदारी?

  • ,
  • दुनियाः लेबनान में इजरायली हवाई हमलों में 47 की मौत, 22 घायल और ट्रंप ने पाम बॉन्डी को अटॉर्नी जनरल नामित किया