मौका था नोएडा-एक्सप्रेसवे पर जेवर एयरपोर्ट के शिलान्यास का। मंच पर मौजूद थे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया, यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ और उनके डिप्टी केशव प्रसाद मौर्य। जहां प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में डबल इंजन सरकार के सियासी फायदे गिनाए, वहीं योगी आदित्यनाथ का रिकॉर्ड एक बार फिर ध्रुवीकरण की धुन पर बजता नजर आया। उन्होंने अपने भाषण में जेवर एयरपोर्ट के लाभों की तो सूची रखी, लेकिन जिन्ना का जिक्र बिना नहीं रह सके।
योगी आदित्यनाथ ने कहा, "कुछ लोगों ने उत्तर प्रदेश के गन्ने की मिठास में कड़वाहट घोलने की कोशिश की।" उन्होंने आगे कहा कि "एक नया द्वंद बना है। यह देश गन्ने की मिठास को एक नई उड़ान देगा, या फिर जिन्ना के अनुयाइयों से दंगा करवाने की शरारत करवाएगा, यही तय करने के लिए, आप सब का आह्वान करने के लिए आज मैं स्वंय आपके बीच आया हूं।"
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आदित्यनाथ का इशारा और हमला सीधे तौर पर समाजवादी पार्टी के नेता अखिलेश यादव की तरफ था जिन्होंने पिछले दिनों पाकिस्तान के संस्थापक जिन्ना की तुलना भारत के स्वतंत्रता सेनानियों के साथ की थी। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उत्तर प्रदेश अब विकास के पथ पर आगे बढ़ रहा है।
वैसे यह पहला मौका नहीं है जब योगी आदित्यनाथ ने जिन्ना राग छेड़कर ध्रुवीकरण का दांव चला है। इससे पहले वे अब्बाजान जैसे शब्दों का प्रयोग कर एक समुदाय विशेष को निशाना बनाते रहे हैं।
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