उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में बाघ और गुलदार का आतंक कम होने का नाम नहीं ले रहा है। देहरादून के रिहायशी इलाकों में वन्यजीवों के बेखौफ घूमने और मासूम बच्चों पर हमले की घटनाओं के बाद गुलदार को पकड़ने के लिए 40 कैमरे लगाने के साथ 40 बंदूकधारी कर्मचारी तैनात कर दिए गए हैं। वन विभाग और पुलिस की टीमें लगातार गश्त कर रही हैं।
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हाल ही में कैनाल रोड पर बाघ के द्वारा एक बच्चे पर हमला करने के बाद मुख्यमंत्री धामी एक्शन में आए और वन विभाग को 24 घंटे अलर्ट पर रहने के साथ ही बाघ को जल्द पकड़ने के निर्देश भी दिए। जिसके बाद वन विभाग और पुलिस ने रात्रि गश्त शुरू कर दी है। गुलदार को पकड़ने के लिए 40 कैमरे लगाये गये हैं। साथ ही 40 बंदूकधारी कर्मचारी भी तैनात कर दिए गए हैं। इसके साथ ही वन विभाग और पुलिस की टीमें लगातार गश्त कर रही हैं और लोगों से सावधानी बरतने की अपील कर रही है।
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मुख्यमंत्री धामी ने भी जनता से अपील की है कि लोग आवश्यक काम होने पर ही घरों से निकले और साथ में छड़ी रखें। इसके अलावा बाघ या शावक के दिखने पर तुरंत पुलिस और वन विभाग को सूचित करें। अपने पशुओं को रात के समय घरों के अंदर बांधे और रात में घरों की लाइट जलाकर रखें। साथ ही बच्चों को स्कूल अकेले ना भेजेकर समूह में भेजें।
बता दें कि 27 दिसंबर को गुलदार एक 4 साल के बच्चे को घर के आंगन से उठाकर ले गया था और उसे अपना शिकार बना लिया था। पुलिस और वन विभाग उसकी तलाश कर रहे थे। लेकिन, कोई कामयाबी हासिल नहीं हुई थी। उसके बाद बीते रविवार को एक बार फिर 3 बाघों ने नदी के किनारे खेल रहे बच्चे को अपना शिकार बनाया। लेकिन, गनीमत रही कि वो बच्चा बच गया। लेकिन, बाघ के हमले में गंभीर रूप से घायल हो गया था, जिसका अस्पताल में इलाज चल रहा है।
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इन दोनों घटनाओं के बाद मुख्यमंत्री एक्शन में आए और गुलदार को जल्द पकड़ने के निर्देश दिए। साथ ही मुख्यमंत्री लगातार इन घटनाओं पर रिपोर्ट ले रहे हैं। वहीं, मयूर विहार में सीसीटीवी में कैद हुई गुलदार की तस्वीरों के बाद मसूरी डीएफओ वैभव कुमार ने कहा कि, पूरा वन महकमा इन घटनाओं से बेहद परेशान है। इन दोनों घटनाओं के बाद दो अलग-अलग टीम बनाई गई हैं। जिनमें 12-12 लोग शामिल हैं। इसके साथ ही अब पूरे क्षेत्र में लगभग 40 कैमरे गुलदार को ट्रेप करने के लिए लगाए गये हैं। इसके साथ ही छह अलग-अलग जगहों पर 40 पिंजरे लगाये गये हैं। साथ ही 40 बंदूकधारी कर्मचारी भी तैनात किए गए हैं।
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डीएफओ ने बताया कि दो डॉक्टर सुबह और दो डॉक्टर को शाम को तैनात किये गये हैं। शासन की तरफ से विशेष परिस्थितियों में गुलदार को ट्रेंकुलाइज करने के आदेश मिल गये हैं। इसके लिए बाकायदा एक्सपर्ट की तैनाती कर दी गई है। वन विभाग के साथ-साथ पुलिस की टीमें भी सुबह और शाम गश्त कर रही हैं। रायपुर और राजपुर थाना क्षेत्रों में गश्त की जा रही है। पहली नजर में हमले का स्टाइल और क्षेत्र यही बताता है कि यह घटना एक ही गुलदार ने की है।
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