उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर के स्कूल में एक बच्चे को दूसरे बच्चों से थप्पड़ मारने के मामले में आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। युनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने योगी सरकार से कहा कि वह बच्चे के पैरेंट्स की पंसद के स्कूल में उसका एडमिशन करवाए।
कोर्ट ने आज सुनवाई के दौरान यूपी सरकार से पूछ कि क्या बच्चे को किसी स्कूल में पढ़ने के लिए दाखिला करवाया गया है? इसके जवाब में यूपी सरकार की तरफ से एडिशनल सॉलिसिटर जनरल ने कहा कि बच्चे के पिता ने सीबीएसई स्कूल में दाखिले की मांग की है। हमने इसके लिए एक कमिटी का गठन किया है। ये मामला सीबीएसी बोर्ड में दाखिले का है। राज्य बोर्ड के स्कूल में दाखिला तुरंत हो सकता है, लेकिन परिवार निजी CBSE स्कूल में एडमिशन चाहता है।
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वहीं अदालत ने पीड़ित बच्चे की ओर से पेश हुए वकील से पूछा कि आप कहां दाखिला करवाना चाहते हैं? इस पर वकील ने कहा कि इस इलाके में कई अच्छे स्कूल हैं। अगर सरकार मदद करती है, तो एडमिशन मिल जाएगा। यहां ईडब्ल्यूएस सीटें भी हैं। इसके जवाब में यूपी सरकार ने कहा कि हमने कमेटी बना ली है। प्राइवेट स्कूल का मामला है। फिर अदालत ने कहा कि अगर सरकार प्राइवेट स्कूल से गुजारिश करती है, तो वे मना क्यों करेंगे? आपको इसके लिए कमेटी की क्यों जरूरत पड़ी?
यूपी सरकार ने कहा कि हम दाखिले के लिए कोशिश कर रहे हैं। अदालत ने इसके जवाब में पूछा कि आपको कमेटी बनाने की जरूरत क्यों है। वह इस मामले में क्या करेगी। फिर यूपी सरकार ने कहा कि हम जरूरी निर्देश जारी करेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने आगे सुनवाई करते हुए कहा कि किसी वरिष्ठ सरकारी अधिकारी को स्कूल में भेजिए। काम हो जाएगा। हमें नहीं लगता है कि कोई स्कूल नहीं कहेगा। उन्होंने यूपी सरकार से पूछा कि आप हमारा आदेश चाहते हैं या फिर हो जाएगा। इस पर यूपी सरकार ने कहा कि हम एडमिशन करवाएंगे।
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आपको बता दें, मुजफ्फनगर में एक मुस्लिम छात्र को कुछ छात्राओं से थप्पड़ मरवाने का एक वीडियो सामने आया था, जिसे लेकर काफी बवाल मचा था। मामले की अगली सुनवाई अब शुक्रवार को होगी। सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर कर थप्पड़ कांड की सही तरीके से जांच की मांग की गई। वीडियो में एक महिला टीचर छात्रों से एक मुस्लिम छात्र को थप्पड़ मारने के लिए कहती दिख रही है। हुए देखा जा सकता है। आरोपी टीचर का कहना था कि उसका ऐसा कोई इरादा नहीं था।
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