मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को आम आदमी पार्टी के नेता और दिल्ली सरकार में पूर्व कैबिनेट मंत्री सत्येन्द्र जैन को चिकित्सा आधार पर दी गई अंतरिम जमानत की अवधि 1 सितंबर तक बढ़ा दी। सत्येंद्र जैन को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मई 2022 में गिरफ्तार किया था, लेकिन उन्हें चिकित्सा आधार पर अंतरिम जमानत दे दी गई थी।
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इससे पहले सत्येंद्र जैन की अंतरिम जमानत याचिका पर 24 जुलाई को सुनवाई हुई थी। सुप्रीम कोर्ट ने स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए जैन को अंतरिम जमानत दे दी थी। इस मामले में पिछली सुनवाई 10 जुलाई को हुई थी, जिसमें कोर्ट ने उनकी जमानत 24 जुलाई तक के लिए बढ़ा दी थी। गौरतलब है कि जैन 31 मई 2022 से हिरासत में थे। छह अप्रैल को दिल्ली हाईकोर्ट से जमानत याचिका खारिज होने के बाद उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में अपील की थी जहां से उन्हें 360 दिन बाद 42 दिन की जमानत मिली थी।
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आपको बता दें, प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 24 अगस्त 2017 को सीबीआई की तरफ से दर्ज की गई एफआईआर को आधार बनाकर सत्येंद्र जैन के खिलाफ मनी-लॉन्ड्रिंग मामले में जांच शुरू की थी। सत्येंद्र जैन ने 14 फरवरी 2015 से 31 मई 2017 तक कई लोगों के नाम पर चल संपत्तियां खरीदी थीं। जिसका वे संतोषजनक हिसाब नहीं दे सके थे। उनके साथ पूनम जैन, अजित प्रसाद जैन, सनील कुमार जैन, वैभव जैन और अंकुश जैन के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया था।
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