संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) ने गुरुवार को ऐलान किया कि वह न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी और कृषि ऋण माफी सहित अन्य लंबित मांगों को लेकर फिर से आंदोलन शुरू करेगा। एसकेएम ने यह भी कहा कि वह अपनी मांगों को लेकर प्रधानमंत्री और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष को एक ज्ञापन सौंपेगा।
Published: undefined
वर्ष 2020-21 के किसान आंदोलन का नेतृत्व करने वाले एसकेएम ने अपनी आम सभा की बैठक के एक दिन बाद यह घोषणा की। एसकेएम ने कहा, “आम सभा ने भारत सरकार के कृषि विभाग के सचिव द्वारा हस्ताक्षरित एसकेएम के साथ केंद्र सरकार के नौ दिसंबर 2021 के समझौते को लागू करने और किसानों की आजीविका को प्रभावित करने वाली अन्य प्रमुख मांगों को लेकर आंदोलन फिर से शुरू करने का फैसला किया है।”
Published: undefined
किसानों के संगठन ने कहा कि संगठन सभी सांसदों को अपनी मांगों को लेकर अद्यतन मांग पत्र सौंपेगा। उसने कहा कि वह अपने मांग पत्र के समर्थन में देश भर में प्रदर्शन कर नौ अगस्त की तारीख को ‘भारत छोड़ो दिवस’ की जगह ‘कॉरपोरेट भारत छोड़ो दिवस’ के रूप में मनाएगा।
Published: undefined
बता दें कि एक दिन पहले पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने हरियाणा सरकार को एक हफ्ते में पंजाब और हरियाणा की सीमा शंभू बॉर्डर पर से बैरिकेडिंग हटाकर उसे खोलने का आदेश दिया है। लोकसभा चुनाव से पहले अपनी मांगों को लेकर पंजाब के हजारों किसानों ने दिल्ली कूच का ऐलान किया था। उन्हें रोकने के लिए हरियाणा सरकार ने शंभू बॉर्डर पर दोनों छोर पर बैरिकेडिंग लगाकर बंद कर दिया था। कोर्ट ने अपने आदेश में यह भी कहा है कि किसानों की मांग केंद्र से है, इसलिए उन्हें दिल्ली जाने देना चाहिए।
Published: undefined
Google न्यूज़, नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें
प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia
Published: undefined