आईआरसीटीसी टेंडर मामले में दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने 20 दिसंबर तक सुनवाई को स्थगित कर दिया गया है। उस दिन बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये अदालत के समक्ष पेश होना होगा।
दूसरी तरफ, आईआरसीटीसी मामले को लेकर छुट्टी पर भेजे गए सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा ने बड़ा खुलासा किया है। सीवीसी को भेजी अपनी प्रतिक्रिया में उन्होंने आरोप लगाया है कि सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना, बिहार के उप-मुख्यमंत्री सुशील मोदी और पीएमओ के एक अधिकारी ने मिलकर आरेजडी प्रमुख लालू यादव को इस मामले में फंसाया है।
द वायर की रिपोर्ट के मुताबिक, वर्मा ने अस्थाना के उन आरोपों को गलत ठहराया है कि उन्होंने जानबूझकर लालू यादव के खिलाफ इस मामले को कमजोर किया था। उनका कहना था कि सीबीआई के तत्कालीन अतिरिक्त निदेशक की हैसियत से अस्थाना ने इस तथ्य को दबा दिया कि इस मामले को लेकर सीबीआई को 2013-14 में एक शिकायत भेजी गई थी जिसे जांच के बाद गलत पाया गया था।
Published: 19 Nov 2018, 1:25 PM IST
वर्मा ने यह भी कहा कि पूरा मामला राजनीति से प्रेरित नजर आता है क्योंकि अस्थाना इस बीजेपी के वरिष्ठ नेता रहे सुशील मोदी के निरंतर संपर्क में थे। उन्होंने अपने जवाब में यह भी बताया कि पीएमओ के एक वरिष्ठ अधिकारी लगातार इस मामले की जानकारी ले रहे थे।
वर्मा ने सीवीसी को आश्वस्त किया कि अगर वो चाहे तो वर्मा पीएमओ के उस अधिकारी का नाम बता सकते हैं और सीवीसी मामले से जुड़े सभी तथ्यों की तस्दीक कर सकती है।
Published: 19 Nov 2018, 1:25 PM IST
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Published: 19 Nov 2018, 1:25 PM IST