सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद आलोक वर्मा सीबीआई हेडक्वार्टर पहुंचे और एक बार फिर सीबीआई डायरेक्टर का पदभार संभाला। उन्होंने 77 दिनों बाद पदभार संभाला है। हालांकि अभी कोई नीतिगत फैसला नहीं ले पाएंगे। मंगलवार को कोर्ट ने आलोक वर्मा को बड़ी राहत देते हुए उन्हें काम पर बहाल कर दिया था। बता दें कि मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने मोदी सरकार को झटका देते हुए आलोक वर्मा को छुट्टी पर भेजने के फैसले को रद्द कर दिया था। साथ ही उन्हें वापस सीबीआई में बहाल कर दिया था।
Published: 09 Jan 2019, 12:13 PM IST
मंगलवार को सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कहा था, “सरकार को सीबीआई चीफ आलोक वर्मा को छुट्टी पर भेजने का कोई अधिकार नहीं है। सिर्फ सेलेक्ट कमेटी के पास ही ये अधिकार है। डीएसपीई अधिनियम के तहत उच्च शक्ति समिति एक हफ्ते के अंदर उनके मामले पर कार्रवाई करने का विचार करें। जब तक उच्च स्तरीय समिति आलोक वर्मा पर कोई फैसला नहीं ले लेता, तबतक वह कोई बड़ा फैसला नहीं ले सकते हैं।”
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कोर्ट ने आगे कहा था, “आलोक वर्मा को हटाने का मामला सरकार को सीजेआई, पीएम और विपक्ष के नेता वाली सिलेक्ट कमेटी के पास भेजना चाहिए था।”
Published: 09 Jan 2019, 12:13 PM IST
बता दें कि अलोक वर्मा ने मोदी सरकार द्वारा उनके अधिकार छीनने और जबरन छुट्टी पर भेजने के खिलाफ याचिका दायर की थी। सीबीआई के निदेशक आलोक कुमार वर्मा और ब्यूरो के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना के बीच छिड़ी जंग सार्वजनिक होने के बाद केंद्र सरकार ने पिछले साल 23 अक्टूबर को दोनों अधिकारियों को उनके अधिकारों से वंचित कर अवकाश पर भेजने का निर्णय किया था। दोनों अधिकारियों ने एक दूसरे पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे।
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Published: 09 Jan 2019, 12:13 PM IST
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Published: 09 Jan 2019, 12:13 PM IST