नागरिकता संशोधन विधेयक के खिलाफ देश के कई हिस्सों में प्रदर्शन हो रहा है। इस बिल का कांग्रेस, एनसीपी, एसपी, आरजेडी, बीएसपी समेत देश की लगभग सभी विपक्षी पार्टियां विरोध कर रही हैं। साथ ही पूर्वोत्तर भारत में भी इसको लेकर विरोध प्रदर्शन जारी है। राजधानी दिल्ली, पटना और उत्तर प्रदेश में भी कई जगहों पर इस विधेयक के खिलाफ प्रदर्शन हो रहा है। वहीं कई राज्यों ने इसे लागू करने से इनकार कर दिया है। कांग्रेस शासित मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने कहा है कि वे इस बिल को लेकर उनकी पार्टी के रुख का समर्थन करते हैं। इस तरह अब तक छह राज्यों के सीएम इसे अपने राज्य में नहीं लागू करने की बात कह चुके हैं।
Published: 13 Dec 2019, 5:19 PM IST
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा है कि नागरिकता संशोधन विधेयक को लेकर कांग्रेस पार्टी ने जो भी रुख अपनाया है, हम उसका पालन करेंगे। उन्होंने कहा कि क्या हम उस प्रक्रिया का हिस्सा बनना चाहते हैं जो विभाजन का बीज बोती है?
Published: 13 Dec 2019, 5:19 PM IST
दूसरी ओर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि नागरिकता संशोधन विधेयक को लेकर हमारा रुख कांग्रेस पार्टी द्वारा लिए गए रुख से बिल्कुल भी अलग नहीं है। हमारा रुख भी उनके जैसा ही है। हम इस बिल का विरोध करते हैं, क्योंकि यह असंवैधानिक है।
Published: 13 Dec 2019, 5:19 PM IST
इससे पहले पश्चिम बंगाल, पंजाब और केरल सरकार भी इसे अपने राज्य में लागू नहीं करने का एलान कर चुके हैं। इस तरह से अब ये कानून देश के इन छह राज्यों में लागू नहीं होगा। बंगाल की सीएम ममता बनर्जी शुरुआत से ही इस बिल के विरोध में हैं और किसी भी हाल में इसे लागू नहीं करने की बात कह चुकी हैं। पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह और केरल के सीएम पिनरई विजयन भी इसपर अपना विरोध जता चुके हैं।
Published: 13 Dec 2019, 5:19 PM IST
वहीं, महाराष्ट्र सरकार के मंत्री और कांग्रेस नेता बालासाहेब थोराट से जब पूछा गया कि क्या महाराष्ट्र सरकार नागरिकता संशोधन अधिनियम को लागू करेगी, तो उन्होंने इसके जबाव में कहा कि हम अपनी पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व की नीति का पालन करेंगे। हम पूरी तरह पार्टी के रुख के साथ है।
Published: 13 Dec 2019, 5:19 PM IST
बता दें कि राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने नागरिकता संशोधन विधेयक-2019 को मंजूरी दे दी है। इसके साथ ही यह कानून बन गया है। विपक्ष के भारी विरोध के बावजूद सरकार ने सोमवार को लोकसभा और बुधवार को राज्यसभा में यह बिल पास करवा लिया था। वहीं पूर्वोत्तर के राज्यों में इसका भारी विरोध हो रहा है। वहां के कई राज्यों में हिंसक प्रदर्शन हो रहा है। अब तक 4 प्रदर्शनकारियों की मौत हो चुकी है।
Published: 13 Dec 2019, 5:19 PM IST
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Published: 13 Dec 2019, 5:19 PM IST