आईसीआईआई की पूर्व सीईओ चंदा कोचर की मुश्किलें अब बढ़ने लगी है। सीबीआई ने चंदा कोचर के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है और मामला दर्ज करने के बाद सीबीआई महाराष्ट्र के 4 अलग-अलग ठिकानों पर छापेमारी कर रही हैं। खबरों के मुताबिक, सीबीआई के छापे मुंबई और औरंगाबाद के कुछ ठिकानों पर पड़े हैं, जिसमें औरंगाबाद स्थित वीडियोकॉन का ऑफिस भी शामिल है। बता दें कि यह छापेमारी वीडियोकॉन ग्रुप को 2012 में आईसीआईसीआई बैंक से मिले 3,250 करोड़ रुपये के लोन मामले में हो रही है।
Published: 24 Jan 2019, 12:58 PM IST
बता दें कि 4 अक्टूबर 2018 को चंदा कोचर ने आईसीआईसीआई बैंक के सीएमडी पद से इस्तीफा दे दिया था। बैंक के बोर्ड ने समय से पूर्व पद छोड़ने की उनकी मांग को स्वीकार करते हुए उनकी जगह संदीप बख्शी को मैनेजिंग डायरेक्टर और चीफ एग्जिक्युटिव ऑफिसर नियुक्त किया था।
Published: 24 Jan 2019, 12:58 PM IST
चलिए बताते हैं कि क्या है पूरा मामला। पूरा मामला तब विवादों में आया जब आईसीआईसीआई बैंक और वीडियोकॉन के शेयर होल्डर अरविंद गुप्ता ने वीडियोकॉन के अध्यक्ष वेणुगोपाल धूत और आईसीआईसीआई की सीईओ और एमडी चंदा कोचर पर एक-दूसरे को लाभ पहुंचाने का आरोप लगाया था। उन्होंने इन दोनों के खिलाफ पीएम, आरबीआई और सेबी को एक खत लिखकर पूरे मामले की जानकारी दी थी। उन्होंने दावा किया था कि वेणुगोपाल धूत की कंपनी वीडियोकॉन को आईसीआईसीआई बैंक से 3250 करोड़ रुपये का लोन दिया गया और इसके बदले वेणुगोपाल धूत ने चंदा कोचर के पति दीपक कोचर की वैकल्पिक ऊर्जा कंपनी ‘नूपावर’ में अपना पैसा निवेश किया था। साथ ही यह भी आरोप है कि चंदा कोचर के पति दीपक कोचर समेत उनके परिवार के सदस्यों को कर्ज पाने वालों की तरफ से वित्तीय फायदे पहुंचाए गए। इस मामले का खुलासा होने के बाद चंदा कोचर को बैंक से इस्तीफा देना पड़ा था। जिसके बाद अब जांच एजेंसी ने एफआईआर दर्ज कर तफ्तीश जारी कर दी है।
Published: 24 Jan 2019, 12:58 PM IST
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Published: 24 Jan 2019, 12:58 PM IST