देश में लोकपाल और राज्यों लोकायुक्त लागू करने की मांग को लेकर समाजसेवी अन्ना हजारे का महाराष्ट्र के रालेगण सिद्धी में अनशन जारी है। रविवार को उनके अनशन का 5वां दिन है। अन्ना की सेहत में लगातार गिरावट दर्ज की जा रही है। जैसे-जैसे अनशन आगे बढ़ रहा है उनकी सेहत बिगड़ती जा रही है।
केंद्र की मोदी सरकार ने अन्ना के अनशन को खत्म कराने को लेकर अभी तक कोई कदम नहीं उठाया है। इस बीच अन्ना हजारे ने चेतावनी भरे लहजे में कहा कि अगर मेरे साथ कुछ हुआ तो लोग पीएम को जिम्मेदार ठहराएंगे।
Published: 03 Feb 2019, 1:33 PM IST
वहीं अन्ना को सर्थन देने के लिए उनके गांव रालेगण सिद्धी में बड़ी संख्या में लोग पहुंच रहे हैं। लोग मोदी सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर रहे हैं और लोकपाल और लोकायुक्त पर जल्द फैसाल लेने की मांग कर रहे हैं।
गैरतलब है कि अन्ना हजारे ने 30 जनवारी को रालेगण सिद्धी में अनशन शुरू किया था। अनशन शुरू करने से पहले अन्ना ने कहा था, “लोकपाल कानून को बने हुए 5 साल हो गए और नरेंद्र मोदी सरकार 5 साल बाद भी इसे लागू नहीं करा पाई, बार-बार बहानेबाजी करती है। अगर नरेंद्र मोदी सरकार के दिल में इसे लागू कराने का इरादा होता तो क्या पांच साल में यह लागू नहीं होता।”
अन्ना ने कहा था, “मेरा अनशन किसी व्यक्ति, पक्ष, पार्टी के विरोध में नहीं है। समाज और देश की भलाई के लिए मैं बार-बार आंदोलन करता आया हूं। उसी प्रकार का यह आंदोलन भी है।”
Published: 03 Feb 2019, 1:33 PM IST
लोकपाल की मांग को लेकर अन्ना हजारे की यह तीसरी भूख हड़ताल है। सबसे पहले वह कई सिविल सोसायटी समूहों के साथ अप्रैल, 2011 में पहली बार दिल्ली के रामलीला मैदान में अनिश्चतकालीन भूख हड़ताल पर बैठे थे। उसके बाद पिछले साल मार्च में भी अन्ना हजारे और उनके समर्थकों ने लोकपाल कानून लागू करने की मांग को लेकर एक हफ्ते भूख हड़ताल की थी।
Published: 03 Feb 2019, 1:33 PM IST
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Published: 03 Feb 2019, 1:33 PM IST