प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार, 4 जुलाई को 2018-19 में अधिसूचित खरीफ फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य में 50 फीसदी वृद्धि को ऐतिहासिक बताया है। वहीं, किसान संगठनों ने इसे किसानों के साथ ऐतिहासिक धोखा करार दिया है।
अखिल भारतीय किसान सभा ने खरीफ फसलों के एमएसपी में वृद्धि के केंद्र सरकार के इस फैसले को किसानों के साथ धोखा बताया है। संगठन ने कहा, “धान के एमएसपी में 200 रुपये की बढ़ोतरी किसानों के साथ ऐतिहासिक धोखा है।” किसान संगठन का कहना है कि उन्हें स्वामीनाथन आयोग की सिफारिश के अनुसार, सी2 स्तर पर 50 फीसदी लाभ के साथ एमएसपी देने का आश्वासन दिया गया था, लेकिन ऐसा नहीं किया गया।
किसान संगठन ने एक बयान में कहा कि मोदी और बीजेपी से किसानों को बड़ी उम्मीद थी, इसलिए उन्होंने 2014 में भाजपा का साथ दिया था, लेकिन बीजेपी सरकार ने उनकी उम्मीदें पूरी नहीं की।
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गौरतलब है कि बुधवार को आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति (सीसीईए) ने फसल वर्ष 2018-19 (जुलाई-जून) की खरीफ फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में उत्पादन लागत पर 50 फीसदी लाभ के साथ वृद्धि की घोषणा की थी।
(आईएएनएस के इनपुट के साथ)
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