नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) ने पिछले तीन वर्षो में तहत ड्रग-विरोधी अभियान के बारे में जानकारी देने से इनकार कर दिया है। एक आरटीआई कार्यकर्ता ने रविवार को यहां यह जानकारी दी। मुंबई के कैंपेनर अनिल गलगली ने नशीले पदार्थों के लिए किए गए छापे की संख्या, जब्त की गई मात्रा, इसकी कुल कीमत और गिरफ्तार किए गए व्यक्तियों के अलावा नशीले पदार्थों के निपटान के तरीके का विवरण मांगा था।
Published: 28 Nov 2021, 5:40 PM IST
गलगली ने कहा, "आश्चर्यजनक रूप से गृह मंत्रालय के तहत आने वाले एनसीबी ने आरटीआई की धारा 24 के तहत जानकारी देने से इनकार किया है। जबकि यहां एनसीबी के अधिकारी खुद विभिन्न मीडिया आउटलेट्स के जरिए इतनी सारी जानकारी देते हैं और तरह-तरह के दावे करते हैं।"
Published: 28 Nov 2021, 5:40 PM IST
उन्होंने आश्चर्य जताया कि एनसीबी इससे क्यों बच रहा है और आरटीआई के तहत जानकारी नहीं दे रहा है, खासकर जब मुंबई पुलिस भी अपने एंटी-नारकोटिक्स सेल द्वारा किए गए छापे पर आसानी से ऐसा डेटा प्रदान करती है।
Published: 28 Nov 2021, 5:40 PM IST
कैंपेनर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को पत्र लिखकर स्पष्टीकरण मांगा है, ताकि जनहित में केंद्रीय एजेंसी के मादक द्रव्य विरोधी अभियान को अपनी वेबसाइट पर अपलोड किया जा सके क्योंकि लोगों को बरामदगी के बारे में जानने का अधिकार है।
Published: 28 Nov 2021, 5:40 PM IST
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Published: 28 Nov 2021, 5:40 PM IST