कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तान को एक बार फिर मुंह की खानी पड़ी है। उस संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC) में तगड़ा झटका लगा है। पाकिस्तान UNHRC के 42वें सत्र में कश्मीर में प्रस्ताव लाने में पूरी तरह नाकाम हो गया है। दरअसल पाकिस्तान जेनेवा में चल रहे 42वें UNHRC सत्र के दौरान कश्मीर पर प्रस्ताव लाने के लिए डेडलाइन खत्म होने तक जरूरी समर्थन ही नहीं जुटा सका। बता दें कि प्रस्ताव लाने के लिए डेडलाइन 19 सितंबर को दोपहर 1 बजे (स्थानीय समय) तक थी।
Published: 20 Sep 2019, 9:49 AM IST
सूत्रों के मुताबिक UNHRC के ज्यादातर सदस्य देशों ने कश्मीर पर प्रस्ताव लाने के लिए पाकिस्तान का समर्थन करने से इनकार कर दिया। यहां तक कि उसे इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC) के 57 देशों का भी समर्थन प्राप्त नहीं हो सका। भारत के खिलाफ कश्मीर पर प्रस्ताव लाने की पाकिस्तान की एक और साजिश धरी करी धरी रह गई। पाकिस्तानी राजनयिक गुस्से में यूएनएचआरसी परिसर से बाहर आ गए।
Published: 20 Sep 2019, 9:49 AM IST
संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में कश्मीर मुद्दे पर चर्चा के दौरान भारत की सचिव कुमम मिनी देवी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में हमारा फैसला भारत का संप्रभु और आंतरिक मामला है। हमारे फैसले को गलत तरीके से पेशकर पाकिस्तान इलाके को लेकर अपनी नीयत छिपा नहीं सकता है। एक बार पीओके और पाकिस्तान के इलाकों के संदर्भ में बात होनी चाहिए। लोगों का गायब होना, हिरासत में रेप की घटना, हिरासत में हत्या की घटना, प्रताड़ित करना, समाजिक कार्यकर्ता और पत्रकारों के मानवाधिकारों का उल्लंघन वहां आम बात है।
Published: 20 Sep 2019, 9:49 AM IST
इस मामले को भारत की एक और कूटनीतिक जीत के तौर पर देखा जा रहा है क्योंकि वो अंतरराष्ट्रीय समुदाय के बीच यह साफ करने में सफल रहा है कि कश्मीर पर फैसला लेना उसका आंतरिक मामला है।
Published: 20 Sep 2019, 9:49 AM IST
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Published: 20 Sep 2019, 9:49 AM IST