माइक्रो ब्लॉगिंग साइट 'ट्वीटर' पर नरेंद्र मोदी या पीएमओ नाम के अकाउंट को टैग कर न तो कोई शिकायत की जा सकती है और न ही सुझाव अथवा समस्या आदि बताई जा सकती है। ये अकाउंट सिर्फ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की यात्राओं सहित अन्य जानकारियों को साझा करने के लिए हैं। यह खुलासा सूचना के अधिकार के जरिये हुआ है।
मध्य प्रदेश के नीमच जिले के स्वतंत्र पत्रकार जिनेन्द्र सुराना ने प्रधानमंत्री कार्यालय को सूचना के अधिकार के तहत आवेदन लगाकर पूछा था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (@narendramodi) और प्रधानमंत्री कार्यालय ( @PMOIndia ) को 'टैग' कर कितनी शिकायतें, सुझाव और जनसमस्याएं पिछले पांच सालों में प्राप्त हुईं? इनके निराकरण की क्या प्रक्रिया है? इनके निस्तारण के लिए कितना स्टाफ है? इनमें से कितनों का निराकरण हुआ और कितनी शिकायतों, सुझावों और जनसमस्याओं को केंद्र के अन्य विभागों या राज्य सरकारों को भेजा गया और इन पर निगरानी रखने की क्या प्रक्रिया है?
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जिनेन्द्र सुराना के 11 अगस्त के इस आरटीआई आवेदन पर नियत एक माह की अवधि यानी 11 सितंबर के बाद सात अक्टूबर तक जानकारी नहीं मिली, तो सुराना ने पीएमओ में ही प्रथम अपील दाखिल की। इस अपील का निराकरण 7 नवंबर को हुआ, जिसमें पीएमओ के लोक सूचना अधिकारी को 25 कार्यदिवस के भीतर सूचना उपलब्ध करवाने के लिए आदेश दिया गया।
इसके बाद सुराना को 27 नवंबर को सूचना दी गई कि ट्वीटर हैंडल (@narendramodi (5 करोड़ 15 लाख फॉलोवर) का संचालन पीएमओ अथवा सरकार के द्वारा नहीं किया जाता है। जबकि ट्वीटर हैंडल @PMOIndia (3 करोड़ 11 लाख फॉलोवर) प्रधानमंत्री कार्यालय का अकाउंट है, जिसका उपयोग प्रधानमंत्री की यात्राओं, भाषणों और विभिन्न मंत्रालयों, विभागों की नवीन जानकारियों से संबंधित समाचारों के प्रसारण के लिए किया जाता है।
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प्रधानमंत्री कार्यालय के केंद्रीय लोक सूचना अधिकारी प्रवीण कुमार की ओर से दी गई जानकारी में बताया गया है कि आमजन द्वारा शिकायत, सुझाव और विचार देने के लिए प्रधानमंत्री कार्यालय की आधिकारिक वेबसाइट ‘पीएम इंडिया डॉट जीओवी डाट इन’ है। इस वेबसाइट पर ही 'प्रधानमंत्री के साथ बातचीत करें' सेक्शन के तहत 'अपने विचार, सुझाव साझा करें' लिंक पर क्लिक करके नागरिक अपने सुझाव दे सकते हैं।
सुराना ने अपने आवेदन में जिन पांच प्रश्नों को उठाया था, उसका सिलसिलेवार उत्तर तो नहीं दिया गया, मगर पीएमओ ने बताया कि पीएमओ की आधिकारिक वेबसाइट पर शिकायत, सुझाव और राय देने की औपचारिक व्यवस्था मौजूद है। यानी देश के नागरिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी या पीएमओ को ट्वीटर पर टैग कर अपनी शिकायत, सुझाव या समस्या नहीं बता सकते हैं।
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यहां यह बता देना जरूरी है कि देश के विदेश मंत्री और रेल मंत्री का ट्वीटर हैंडल लोगों के ट्वीट का न केवल जवाब देता है, बल्कि उनकी शिकायतों के निवारण के लिए भी कदम उठाता है। सुराना का कहना है, “रेल मंत्री और विदेश मंत्री के ट्वीटर हैंडल को लेकर सामने आने वाली जानकारी के मद्देनजर ही यह जिज्ञासा हुई कि पांच सालों में प्रधानमंत्री के ट्वीटर पर कितनी शिकायतें आईं और कितनों का निराकरण हुआ। इसी के चलते पीएमओ में सूचना के अधिकार के तहत आवेदन दिया था। जिससे अब स्पष्ट हो गया कि प्रधानमंत्री के ट्वीटर हैंडल पर कोई शिकायत नहीं की जा सकती है।”
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