सुप्रीम कोर्ट में बुधवार को एक जनहित याचिका (पीआईएल) दायर की गई है। याचिका में हाथरस भगदड़ की घटना की जांच के लिए शीर्ष न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश की निगरानी में पांच सदस्यीय विशेषज्ञ समिति गठित करने की मांग की गई है। समिति इस घटना की जांच करने के साथ-साथ अपना सुझाव भी देगी।
Published: undefined
याचिकाकर्ता विशाल तिवारी ने शीर्ष अदालत से अनुरोध किया है कि वह सभी राज्य सरकारों को निर्देश दे कि वे किसी भी धार्मिक आयोजन या अन्य कार्यक्रमों के आयोजन में जनता की सुरक्षा के लिए भगदड़ या अन्य घटनाओं को रोकने के लिए दिशा-निर्देश जारी करे, जहां बड़ी संख्या में लोग एकत्रित होते हैं, जिससे भविष्य में ऐसी घटनाओं न हो।
Published: undefined
इसके साथ ही याचिका में उत्तर प्रदेश सरकार से हाथरस भगदड़ की घटना में शीर्ष अदालत के समक्ष स्टेटस रिपोर्ट प्रस्तुत करने की मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि भगदड़ से प्रशासन की चूक, लापरवाही और विफलता उजागर हुई है। इस घटना में लापरवाह आचरण के दोषी लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने के निर्देश देने की भी मांग की गई है।
Published: undefined
वहीं इलाहाबाद उच्च न्यायालय में दायर एक अलग जनहित याचिका में सीबीआई से जांच और प्रमुख अधिकारियों के निलंबन की मांग की गई है।
वकील गौरव द्विवेदी की ओर से दायर जनहित याचिका में दावा किया गया है कि जिला अधिकारी अपने 'लापरवाह' कृत्य के लिए 'पूरी तरह जिम्मेदार' हैं, जिसके कारण भगदड़ हुई। प्रदेश में इस प्रकार की अनुचित कानून व्यवस्था की स्थिति से लोगों का सरकार से विश्वास उठ जाएगा।
Published: undefined
याचिकाकर्ता ने याचिका में कहा है कि वह विश्व के सबसे बड़े धार्मिक समागम महाकुंभ में भाग लेने वाले श्रद्धालुओं की सुरक्षा को लेकर बहुत चिंतित हैं, जो 2025 में उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में होने वाला है।
Published: undefined
याचिकाकर्ता ने इस याचिका के माध्यम से उच्च न्यायालय से आग्रह किया कि वह उसकी जनहित याचिका को स्वीकार करे और घटना का स्वतः संज्ञान ले। वर्तमान मामले की स्वतंत्र न्यायिक जांच होनी चाहिए। इस घटना के लिए जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई के आदेश दिये जाने चाहिये।
Published: undefined
Google न्यूज़, नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें
प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia
Published: undefined