कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और लोकसभा सांसद मल्लिकार्जुन खड़गे ने लोकपाल नियुक्ति पर आयोजित चयन समिति की बैठक में शामिल होने से इंकार कर दिया है। खड़गे ने इसे लेकर पीएम मोदी को एक पत्र लिखा है। पीएम को लिखे गए पत्र में खड़गे ने कहा, “विशेष तौर पर भेजा गया निमंत्रण सबसे जरूरी भ्रष्टाचार विरोधी निगरानी समूह की चयन प्रक्रिया से विपक्ष की आवाज को अलग करने का एक सम्मिलित प्रयास है।” सरकार ने मल्लिकार्जुन खड़गे को लोकपाल नियुक्ति चयन समिति की बैठक में विशिष्ट अतिथि के रूप में हिस्सा लेने के लिए आमंत्रित किया था।
Published: 01 Mar 2018, 3:27 PM IST
मल्लिकार्जुन खड़गे ने पत्र में आगे कहा, “ लोकपाल नियुक्ति चयन समिति की बैठक में हिस्सा लेने के अधिकार के बिना विशेष आमंत्रित व्यक्ति के तौर पर मेरी मौजूदगी, मेरे विचार दर्ज करना और मतदान करना एक ढकोसला होगा, जिसका लक्ष्य यह दिखाना है कि चयन प्रक्रिया में विपक्ष ने हिस्सा लिया था।” उन्होंने आगे लिखा, “इन हालातों में लोकपाल अधिनियिम 2013 की पवित्रता को बनाए रखने के लिए मुझे विशेष आमंत्रित व्यक्ति के निमंत्रण को अस्वीकार करना चाहिए।’’
Published: 01 Mar 2018, 3:27 PM IST
लोकपाल नियुक्ति पर चयन समिति की 1 मार्च को बैठक होनी है, जिसमें लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन, पीएम नरेंद्र मोदी और सीजेआई दीपक मिश्रा भी हिस्सा ले रहे हैं। इसी बैठक में मल्लिकार्जुन खड़गे को भी सरकार ने आमंत्रित किया है।
लोकपाल अधिनियम के मुताबिक, लोकसभा में विपक्ष का नेता ही चयन समिति का सदस्य होता है और खड़गे विपक्ष के नेता नहीं हैं।
लोकपाल को देश के शीर्ष अधिकारियों समेत प्रधानमंत्री और केंद्रीय मंत्रिमंडल के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच करने का अधिकार होगा। लोकपाल और लोकायुक्त कानून 2013 में लोकसभा और राज्यसभा की सहमति से पास हुआ था। लेकिन, अब तक केंद्र सरकार ने लोकपाल की नियुक्ति नहीं की।
Published: 01 Mar 2018, 3:27 PM IST
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Published: 01 Mar 2018, 3:27 PM IST