केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने शुक्रवार को देश के 11 गैर बीजेपी शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों को पत्र लिखा और नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) पारित करने के खिलाफ समर्थन मांगा। विजयन ने अपने पत्र में इच्छा जाहिर कि जिस तरह केरल विधानसभा ने मंगलवार को सीएए के खिलाफ प्रस्ताव पारित किया है, उसी तरह सभी गैर बीजेपी मुख्यमंत्री अपने यहां भी करें। दिल्ली, मध्य प्रदेश, राजस्थान, बिहार, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, झारखंड, ओडिशा,पंजाब, पुड्डुचेरी और पश्चिम बंगाल के सीएम को भेजे अपने पत्र में उन्होंने लोकतंत्र और देश की धर्मनिरपेक्षता को बचाने की अपील की है।
Published: undefined
अपने पत्र में विजयन ने कहा है कि समाज के बड़े तबके में सीएए को लेकर आशंका पैदा हुई है। ऐसे में समय की मांग है कि सभी भारतीयों में एकता बनी रहे जो लोकतंत्र और धर्मनिरपेक्षता के हमारे पोषित मूल्यों की रक्षा करना और उसे बनाए रखना चाहते हैं। हमें अपनी विविधता में एकता पर विश्वास है, जो कई बार कसौटी पर खरी उतरी है। केरल विधानसभा में पारित प्रस्ताव का जिक्र करते हुए पत्र में विजयन ने अपने समकक्षों से कहा कि “केरल विधानसभा से पास प्रस्ताव में केंद्र सरकार से सीएए 2019 को रद्द करने का आग्रह किया गया है। वैसे राज्य, जिनकी राय है कि सीएए को रद्द किया जाना चाहिए, उन्हें एक समान कदम उठाना चाहिए, जिससे सीएए और एनआरसी समर्थकों की आंख खुल सके।"
Published: undefined
जिन मुख्यमंत्रियों को विजयन ने पत्र लिखा है, उनमें पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी, दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल, बिहार के नीतीश कुमार, आंध्र्र प्रदेश के जगन मोहन रेड्डी, झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन, महाराष्ट्र के उद्धव ठाकरे, मध्य प्रदेश के सीएम कमल नाथ, पंजाब सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह, पुड्डुचेरी के वी.नारायणस्वामी, राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत और ओडीशा के सीएम नवीन पटनायक के नाम शामिल हैं। विजयन ने सभी से संविधान की मूल भावना को बचाने के लिए एक साथ आने की अपील की।
Published: undefined
गौरतलब है कि केंद्र सरकार द्वारा लागू नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ जारी देशव्यापी विरोध-प्रदर्शन के बीच केरल विधानसभा ने 31 दिसंबर को एक प्रस्ताव पारित कर केंद्र सरकार से इस कानून को निरस्त करने की मांग किया है। विधानसभा में प्रस्ताव का राज्य में सत्तासीन सीपीआई(एम) के नेतृत्व वाले एलडीएफ और कांग्रेस के नेतृत्व वाले विपक्षी गठबंधन यूडीएफ के सभी सदस्यों ने समर्थन किया, जबकि राज्य में बीजेपी के एकमात्र विधायक और पूर्व केंद्रीय मंत्री ओ राजगोपाल एकमात्र ऐसे विधायक रहे जिन्होंने प्रस्ताव का विरोध किया।
Published: undefined
Google न्यूज़, नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें
प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia
Published: undefined