वरिष्ठ वकील और एक्टिविस्ट प्रशांत भूषण ने मोदी सरकार पर सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट को लेकर हमला बोला है। उन्होंने कहा है कि केंद्र सरकार के पास संकट काल से जूझते भारत में मोदी सरकार के पास शिक्षकों और नौकरियों के लिए पैसा नहीं है, लेकिन नए सेंट्रल विस्टा की संशोधित रकम 13,450 करोड़ रुपए है। प्रशांत भूषण ने कहा कि इस खर्च में नई संसद भवन बनाने में जो 1000 करोड़ रुपए खर्च होने वाले हैं उसे नहीं जोड़ा गया है।
Published: 20 Dec 2020, 3:20 PM IST
प्रशांत भूषण ने एक अखबार की खबर को ट्विटर पर शेयर करते हुए लिखा, '13,450 करोड़ रुपए नए सेंट्रल विस्टा के लिए संशोधित रकम है। इसमें नई संसद के एक हजार करोड़ रुपए की रकम शामिल नहीं है! ऐसा तब हो रहा है, जब कोरोना संकट सिर पर है। ऊपर से 20% बेरोजगारी है, जबकि सरकार कह रही है कि उसके पास टीचरों और सरकारी नौकरियों के लिए पैसे नहीं हैं! मोहम्मद बिन तुगलक और नीरो याद आए?
Published: 20 Dec 2020, 3:20 PM IST
इसी मुद्दे पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने भी मोदी सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने ट्वीट कर लिखा, 'हमारा देश जब वित्तीय संकट का सामना कर रहा है, तब इस तरह से बड़ी रकम को बर्बाद करना आपराधिक कृत्य होगा। और वह भी किसलिए?'
Published: 20 Dec 2020, 3:20 PM IST
दिग्विजय सिंह ने लिखा, “इस बात पर संसद में क्यों चर्चा नहीं हुई? कौन आर्किटेक्ट है? कैसे उसे चुना गया? क्या क्रेडेंशियल्स हैं? जनता के बीच यह आइडिया क्यों नहीं लाया गया? प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस प्रोजेक्ट में प्रख्यात टाउन प्लैनर्स की समिति क्यों नहीं बनाई?”
Published: 20 Dec 2020, 3:20 PM IST
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Published: 20 Dec 2020, 3:20 PM IST